सिंगापुर: तबला वादक जाकिर हुसैन (Tabla Player Zakir Hussain) का कहना है कि भारत के लिए वह अपनी भावनाओं को शब्दों में बयां नहीं कर सकते क्योंकि देश उनके दिल में बहुत खास जगह रखता है।
हुसैन ने शनिवार को आयोजित संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘यह ऐसी भावना है जिसे शब्दों में बयां नहीं किया जा सकता। भारत मेरे लिए बहुत खास देश है। यह एक संगीत Symphony की तरह है जो संगीत के विभिन्न घटकों के बावजूद महान रचनात्मकता का एकीकृत संयोजन करने में सक्षम है।”
हुसैन ने कहा, ‘‘वहां पैदा हुआ, पला-बढ़ा, Education प्राप्त की
हुसैन ने कहा, ‘‘वहां पैदा हुआ, पला-बढ़ा, Education प्राप्त की, कला की बारीकियां सीखी और America में 40 से अधिक वर्षों तक निवास करने के बाद भी, मैं अपना भारतीय पासपोर्ट रखता हूं।’’
भारत की आजादी के 75th साल के उपलक्ष्य में एक संगीत कार्यक्रम के लिए यहां आए हुसैन ने कहा कि 1960-70 के दशक में, दुनिया ने भारत की ओर देखा और Yoga, Meditation, Music और व्यंजनों की सराहना की। हुसैन ने कहा, ‘‘जब लोगों ने भारत के बारे में बात की, तो उन्होंने संस्कृति और उसके संगीत के बारे में बात की और आप किसी देश को उसकी संस्कृति से अलग नहीं कर सकते।’’
भारत की सांस्कृतिक रचनात्मकता की ओर ध्यान दिलाया
हुसैन ने कहा कि एक देश को उसकी संस्कृति के कारण प्यार और सम्मान दिया जाता है, न कि केवल उसके धन भंडार के आधार पर। उन्होंने कहा कि महान संगीतकार रविशंकर, बिस्मिल्लाह खान और देश के कई महान कलाकारों ने पूरी दुनिया की Travel की, दर्शकों को मंत्रमुग्ध किया और भारत की सांस्कृतिक रचनात्मकता की ओर ध्यान दिलाया।
भारत के उच्चायोग के सहयोग से सिंगापुर इंडियन फाइन आर्ट्स सोसाइटी (SIFAS) द्वारा संगीत कार्यक्रम का आयोजन रविवार को सिंगापुर और भारत के बीच घनिष्ठ सांस्कृतिक संबंधों का जश्न मनाते हुए किया जाएगा। हुसैन के साथ भारतीय कलाकार जयंती कुमारेश वीणा पर और कला रामनाथ वायलिन पर प्रस्तुति देंगी।