रांची : झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) में डबलिन यूनिवर्सिटी मिशन (Dublin University Mission) की जनहित याचिका पर दोनों पक्षों की सुनवाई पूरी हो गई। इसके बाद हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस संजय कुमार मिश्र की अध्यक्षता वाली खंडपीठ ने शुक्रवार को मामले में फैसला सुरक्षित रख लिया।
याचिकाकर्ता की ओर से याचिका दाखिल कर कहा गया था कि डबलिन यूनिवर्सिटी मिशन ट्रस्ट की प्रॉपर्टी चैरिटेबल (Dublin University Mission Trust Property Charitable) कार्यों हॉस्पिटल स्कूल के लिए यूज हो सकती है लेकिन छोटानागपुर डायोसी ट्रस्ट एसोसिएशन के द्वारा इसकी संपत्ति को हजारीबाग में अवैध रूप से बेचा जा रहा है, इसकी जांच कराई जाए।
सुनवाई में कोर्ट को बताया गया था कि वर्ष 1930 में डबलिन यूनिवर्सिटी मिशन एक कंपनी बन गई थी, जिसका नाम डबलिन यूनिवर्सिटी मिशन ट्रस्ट एसोसिएशन था। वर्ष 1960 में इसकी ऐसेट एंड लायबिलिटी छोटेनागपुर डायोसी ट्रस्ट एसोसिएशन मर्ज कर गया था। याचिकाकर्ता ने एक सिविल सूट भी हजारीबाग सिविल कोर्ट में डाला था लेकिन इसकी जानकारी जनहित याचिका में याचिकाकर्ता की ओर से नहीं दी गई थी।