नई दिल्ली: रक्षामंत्री राजनाथ सिंह(Defense Minister Rajnath Singh) ने अपनी मुंबई यात्रा के दौरान भारतीय नौसेना के समुद्री टोही पनडुब्बी रोधी युद्धक विमान पी-8आई में उड़ान भरी।
मिशन के दौरान लंबी दूरी की निगरानी, इलेक्ट्रॉनिक युद्ध, इमेजरी इंटेलिजेंस और खोज एवं बचाव क्षमताओं का प्रदर्शन किया गया। इस उड़ान के लिए टीम में दो पायलट और तीन महिला अधिकारियों सहित सात नौसेना अधिकारी शामिल रहे।
भारतीय नौसेना के समुद्री बेड़े में 2013 से पी8आई विमानों के शामिल होने से हिंद महासागर क्षेत्र (IOR) में भारत के निगरानी कार्यों में उल्लेखनीय वृद्धि हुई है।
उड़ान भरने के बाद रक्षामंत्री राजनाथ सिंह ने ट्वीट करके कहा कि नौसेना के युवाओं, पुरुषों और महिलाओं द्वारा संचालित समुद्री टोही विमान पी-8आई पर वायु संचालन का साक्षी बना।
विमान पी-8आई पर वायु संचालन का साक्षी बना- राजनाथ सिंह
पहली बार लंबी दूरी की समुद्री निगरानी और एएसडब्ल्यू क्षमताओं(ASW Capabilities) का अनुभव करने के बाद मुझे यकीन है कि हमारे समुद्री हित लड़ाकू, विश्वसनीय और एकजुट भारतीय नौसेना के सुरक्षित हाथों में हैं।
नौसेना प्रमुख एडमिरल आर. हरि कुमार भी रक्षामंत्री राजनाथ सिंह के साथ थे। उड़ान भरने से पहले चालक दल ने रक्षामंत्री को पी-8आई विमानों के बारे में तकनीकी जानकारी दी।
उन्हें बताया गया कि भारत के समुद्री क्षेत्र में किसी भी तरह के खतरे का पता लगाकर उसका खात्मा करने के लिए अमेरिकी ‘गेम चेंजर’ विमान पी-8आई विमानों को तैनात किया गया है।
अमेरिका के बाद इन विमानों के बेड़े का संचालन करने वाली नौसेनाओं में अब भारत दूसरे नंबर पर हो गया है। नौसेना के पास इस समय हंटर नाम से प्रसिद्ध 11 अमेरिकी पी-8आई एयरक्राफ्ट हैं।
समुद्री निगरानी और खोज एवं बचाव अभियान के लिए अमेरिकी गश्ती विमान मिलने से भारतीय नौसेन(Indian Navy) के बेड़े की ताकत बढ़ी है।