नई दिल्ली: PM Narendra Modi ने गुरुवार को कहा कि डबल इंजन की सरकार (Double Engine Government) का काम करने का एक अलग तरीका है जिसमें प्राथमिकता के तहत लोगों के जीवन को आसान बनाया जा रहा है।
डबल ईंजन की सरकार जनजातीय क्षेत्रों (Tribal Areas) और पहाड़ी क्षेत्रों (Hilly Areas) में विकास पर सबसे अधिक बल दे रही हैं।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने चंबा में कई परियोजनाओं की शुरुआत की
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज हिमाचल के चंबा (Chamba) में कई परियोजनाओं की शुरुआत की। यहां जनसभा को संबोधित करते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि पिछले 8 वर्षों में पूरे देश के पहाड़ी क्षेत्रों में, दुर्गम इलाकों में, जनजातीय क्षेत्रों में तेज विकास का एक महायज्ञ चल रहा है।
इसका लाभ हिमाचल के चंबा को मिल रहा है, पांगी-भरमौर, छोटा-बड़ा भंगाल, गिरिपार, किन्नौर और लाहौल स्पीति जैसे क्षेत्रों को मिल रहा है।
पिछली सरकार पर दुर्गम और दूरदराज के क्षेत्रों को विकास से वंचित रखने का आरोप
प्रधानमंत्री ने पिछली सरकारों पर दुर्गम और दूरदराज के क्षेत्रों को विकास से वंचित रखने का आरोप लगाया। उन्होंने कहा कि पिछली सरकारें काम की आसानी को देखते हुए सुविधाएं पहुंचाती थी।
उनका ध्यान इस बात पर होता था कि मेहनत कम लगे और राजनीतिक लाभ ज्यादा मिले। इसके चलते दुर्गम और जनजातीय क्षेत्र सुविधाओं से वंचित रहते थे जबकि सबसे ज्यादा विकास कार्यों की जरूरत इन्हीं क्षेत्रों की थी।
पहाड़ का पानी और पहाड़ की जवानी उसके काम नहीं आती
उन्होंने कहा, “जब मैं आपके बीच रहता था तो कहा करता था, कि हमें कभी न कभी उस बात को मिटाना होगा, कि पहाड़ का पानी और पहाड़ की जवानी उसके काम नहीं आती, आज हमने उस बात को बदल दिया है।
अब यहां का पानी भी आपके काम आएगा और यहां की जवानी भी जी-जान से अपनी विकास की यात्रा को आगे बढ़ाएगी।”
पिछली सरकार पर विकास परियोजनाओं को लटकाने का आरोप
पिछली सरकारों पर विकास परियोजनाओं (Development Projects) को लटाकाने का आरोप लगाते हुए प्रधानमंत्री ने कहा कि हिमाचल प्रदेश (Himachal Pradesh) के पूर्व मुख्यमंत्री धूमल (Dhumal) , शांता कुमार (Shanta Kumar) को अक्सर छोटी-मोटी परियोजनाओं को मंजूरी दिलाने के लिए दिल्ली (Delhi) के चक्कर लगाने पड़ते थे। दिल्ली में उनकी सुनवाई नहीं होती थी। हिमाचल की मांगे और फाइलें भटकती रहती थी।
इसके चलते चंबा जैसे प्राकृतिक, सांस्कृतिक और आस्था से समृद्ध क्षेत्र विकास की दौड़ में पीछे रह गए। 75 साल बाद उन्हें चंबा के विकास पर विशेष ध्यान केंद्रित करना पड़ा।
हाटी समुदाय को जनजातीय दर्जा देने का फैसला
प्रधानमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने एक और फैसला लिया है। सिरमौर के गिरिपार क्षेत्र के हाटी समुदाय को जनजातीय दर्जा देने का फैसला ये दिखाता है कि हमारी सरकार जनजातीय लोगों के विकास को कितनी प्राथमिकता दे रही है।
सालाना 270 मिलियन यूनिट बिजली का होगा उत्पादन
प्रधानमंत्री ने आज यहां दो पनबिजली परियोजनाओं- 48 मेगावाट की छंजू-III पनबिजली परियोजना और 30 मेगावाट की देवथल छंजू पनबिजली परियोजना की आधारशिला रखी।
इन दोनों परियोजनाओं से सालाना 270 मिलियन यूनिट बिजली (Electricity) का उत्पादन होगा और इन परियोजनाओं से हिमाचल प्रदेश को लगभग 110 करोड़ रुपए का वार्षिक राजस्व प्राप्त होने की उम्मीद है।
प्रधानमंत्री ने राज्य में लगभग 3,125 किलोमीटर सड़कों के उन्नयन के लिए हिमाचल प्रदेश में प्रधानमंत्री ग्राम सड़क योजना (PMGSY)-III का भी शुभारंभ किया।
राज्य के 15 सीमावर्ती और दूर-दराज के ब्लॉकों में 440 किलोमीटर सड़कों के उन्नयन के लिए केन्द्र सरकार ने 420 करोड़ रुपये से अधिक स्वीकृत किए हैं।
प्रधानमंत्री ने कहा कि आज शुरू की गई परियोजनाओं से चंबा और विभिन्न गावों को लाभ मिलेगा। इससे सड़क संपर्क, बिजली और रोजगार बढ़ेगा।
जिंदगी बचाने के लिए सरकार दिन रात मेहनत की
प्रधानमंत्री ने कहा कि महामारी के दौरान लोगों की जिदंगी बचाने के लिए मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर (CM Jairam Thakur) और उनकी सरकार ने रात-दिन मेहनत की।
उन्होंने कहा कि आज आयुष्मान भारत योजना के तहत 5 लाख रुपये का मुफ्त इलाज मिल रहा है। इस योजना के सबसे बड़े लाभार्थी भी वही लोग हैं, जो कभी अस्पताल तक नहीं जा पाते थे।
हिमाचल की स्थापना के 75 वर्ष होने वाले हैं पूरे
प्रधानमंत्री (Prime minister) ने कहा कि आने वाले कुछ महीनों में हिमाचल की स्थापना के 75 वर्ष पूरे होने वाले हैं।
देश आजादी के 100 वर्ष होने पर हिमाचल के भी स्थापना के 100 वर्ष पूरे होंगे। ऐसे में आने वाले 25 वर्षों में एक-एक दिन महत्वपूर्ण है।