रांची : झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) ने बुधवार को राज्य सरकार को निर्देश दिया है कि राज्य के सभी जिलों में बहुमंजिला मकानों में फायर सेफ्टी नॉर्म्स (Fire safety norms) का पालन सख्ती से होना चाहिए।
सरकार को लगातार समय-समय पर इसकी रिव्यू भी करनी होगी।
नेशनल बिल्डिंग कोड (National building code) का पालन सुनिश्चित होना जरूरी है।
कोर्ट ने निर्देश दिया कि फायर सेफ्टी रूल एंड रेगुलेशन का पालन होना चाहिए।
राज्य सरकार को 7-8 बिंदुओं पर दिशा निर्देश देते हुए कोर्ट ने मामले को निष्पादित कर दिया।
बिल्डिंग बनने से पहले संबंधित विभाग से NOC लेना चाहिए
इससे पहले कोर्ट के आदेश के आलोक में सभी जिला प्रशासन के द्वारा बहुमंजिला इमारतों के फायर सेफ्टी ऑडिट की रिपोर्ट कोर्ट के समक्ष प्रस्तुत की गई, जिसे कोर्ट ने अपने रिकॉर्ड में ले लिया।
जिला प्रशासन की ओर से कहा गया कि जिन बहुमंजिला इमारत ने फायर सेफ्टी नॉर्म्स का पालन नहीं किया है उनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।
कोर्ट ने निर्देश दिया कि फायर सेफ्टी को लेकर बिल्डिंग बनने से पहले संबंधित विभाग से NOC लेना चाहिए।
आशीर्वाद टावर और हाजरा क्लीनिक में आग लगने से 19 लोगों की मौत
फायर सेफ्टी को लेकर जो बाइलॉज और रेगुलेशन बने हैं उनका पालन होना चाहिए।
फायर सेफ्टी के तहत नेशनल बिल्डिंग कोड बना है, उसका पालन सुनिश्चित होना चाहिए।
उल्लेखनीय है कि बीते साल नवंबर महीने में धनबाद के आशीर्वाद टावर और हाजरा क्लीनिक में आग लगने से 19 लोगों की मौत हो गई थी।
इस मामले में कोर्ट ने स्वतः संज्ञान लिया था।
कोर्ट ने मामले में राज्य सरकार को चार माह में सभी जिलों के फायर ऑडिट रिपोर्ट प्रस्तुत करने का निर्देश सरकार को दिया था।