Karnataka Election : अंतिम दौर में भाजपा के लिए संजीवनी बूटी बने भगवान हनुमान

बेंगलुरु में पीएम नरेंद्र मोदी के मेगा रोड शो में कुछ समर्थकों को भगवान हनुमान के भेष में देखा गया

News Aroma Media
5 Min Read

बेंगलुरु: ‘संकट ते हनुमान छुड़ावे, मन कर्म वचन ध्यान जो लावे’ (अगर आप अपनी पूरी भक्ति के साथ उनसे प्रार्थना करते हैं, तब भगवान हनुमान (Lord Hanuman) आपको संकट से बचाएंगे) ‘हनुमान चालीसा’ (‘Hanuman Chalisa’) की ये एक मशहूर लाइन है, जिसका भक्त हिंदू भगवान हनुमान के लिए जाप करते हैं।

यह लाइन कर्नाटक चुनाव (Karnataka Election) के मैदान में भी जोर से बज रही है, क्योंकि BJP को भगवान हनुमान पर भरोसा है। इसके अलावा प्रधानमंत्री Narendra Modi  राज्य में चुनाव को जीतने में उनकी मदद कर रहे हैं।

बेंगलुरु में PM नरेंद्र मोदी के मेगा रोड शो (PM Narendra Modi Mega Road Show) में कुछ समर्थकों को भगवान हनुमान के भेष में देखा गया। जिससे यह साफ हो गया कि चुनाव प्रचार के अंतिम हफ्ते का विषय भगवान ‘बजरंग बली’ बन गए हैं।

Karnataka Election : अंतिम दौर में भाजपा के लिए संजीवनी बूटी बने भगवान हनुमान-Karnataka Election: Lord Hanuman became Sanjeevani Booti for BJP in the last round

हर रैली में ‘जय बजरंग बली’ का नारा लगाते हैं PM मोदी

इसके बाद कांग्रेस शिकायत कर रही है कि भाजपा ने इस हिंदूवादी संगठन ‘बजरंग दल’ (‘Bajrang Dal’) के बजाय बजरंग बली तक ले जाने के लिए पूरी कहानी को तोड़-मरोड़ कर पेश किया है।

- Advertisement -
sikkim-ad

कांग्रेस ने पिछले मंगलवार को जारी अपने घोषणापत्र (Manifesto) में अनावश्यक रूप से बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव रखा था। लेकिन भाजपा का कहना है कि उसके पास भगवान हनुमान का आवाह्न करने का पूरा कारण है।

तब से PM मोदी (PM Modi) हर रैली में ‘जय बजरंग बली’ का नारा लगाते हैं। ये गौरतलब है कि भगवान हनुमान का जन्म कर्नाटक की अंजनाद्री पहाड़ियों में हुआ था।

कर्नाटक में भगवान हनुमान को भगवान अंजनेय (Lord Anjaneya) के रूप में जाना जाता है और व्यापक रूप से इनकी पूजा होती है।

दरअसल, BJP के वरिष्ठ नेता ने बताया कि कांग्रेस ने 2 मई को जारी घोषणापत्र में ‘बजरंग दल पर प्रतिबंध’ लगाने का वादा किया था, जो कि भगवान हनुमान को समर्पित हफ्ते का पवित्र दिन मंगलवार था।

Karnataka Election : अंतिम दौर में भाजपा के लिए संजीवनी बूटी बने भगवान हनुमान-Karnataka Election: Lord Hanuman became Sanjeevani Booti for BJP in the last round

बसवराज बोम्मई ने रामायण में वर्णित इस जगह को ‘किष्किन्धा’ कहा

कहा जाता है कि भगवान हनुमान का जन्म कर्नाटक के कोप्पल जिले में अंजनाद्री पहाड़ियों में हुआ था। पहले भी मुख्यमंत्री बसवराज बोम्मई (Basavaraj Bommai) ने रामायण में वर्णित इस जगह को ‘किष्किन्धा’ कहा था।

रामायण में किष्किन्धा वानर (Kishkindha Monkey) साम्राज्य था, जहां भगवान राम पहली बार हनुमान से मिले थे। हनुमान ने उन्हें लंका तक पहुंचने में मदद की थी, जहां माता सीता को रखा गया था।

भाजपा के स्टार प्रचारक उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री Yogi ने कर्नाटक में अपनी रैलियों के दौरान उत्तर प्रदेश और कर्नाटक के बीच संबंध की व्याख्या करते हुए कहा कि भगवान राम का जन्म अयोध्या में और हनुमान का जन्म कर्नाटक में हुआ था।

Karnataka Election : अंतिम दौर में भाजपा के लिए संजीवनी बूटी बने भगवान हनुमान-Karnataka Election: Lord Hanuman became Sanjeevani Booti for BJP in the last round

राज्य भर में हनुमान मंदिर बनाने का वादा

योगी ने कहा कि बजरंग दल (Bajrang Dal) राष्ट्रीय और समाज सेवा के लिए समर्पित है और भगवान हनुमान को समर्पित है। उन्होंने जोर देकर कहा कि ‘बजरंग दल पर प्रतिबंध लगाने का प्रस्ताव हिंदू धर्म का अपमान करना है और कोई भी राष्ट्रवादी इस बर्दाश्त नहीं करेगा।

बोम्मई सरकार (Bommai Sarkar) वास्तव में अंजंधारी पहाड़ियों को एक प्रमुख जगह के रूप में विकसित करने पर काम कर रही है। पिछले साल राज्य के बजट में इसके लिए 100 करोड़ रुपये का प्रावधान किया था।

डीके शिवकुमार (DK Shivakumar) जैसे कांग्रेस के राज्य के बड़े नेताओं को ‘बजरंग दल’ के मुद्दे के कारण नुकसान की आशंका है। इसलिए उन्होंने सत्ता में आने के बाद राज्य भर में हनुमान मंदिर बनाने का वादा किया है।

Karnataka Election : अंतिम दौर में भाजपा के लिए संजीवनी बूटी बने भगवान हनुमान-Karnataka Election: Lord Hanuman became Sanjeevani Booti for BJP in the last round

बजरंग बली’ के मुद्दे ने भाजपा के अभियान में नई जिंदगी और नए सिरे से जोश भर दिया

रामायण में भगवान हनुमान ने संजीवनी बूटी लाने के लिए लंका से हिमालय तक उड़ान भरकर अपना पराक्रम दिखाया था। जिसने युद्ध में गंभीर रूप से घायल होने के बाद लक्ष्मण की जान बचाई थी।

ऐसा लगता है कि ‘बजरंग बली’ के मुद्दे (‘Bajrang Bali’ Issues ) ने अप्रैल के अंतिम हफ्ते तक Congress के अभियान के चरम पर पहुंचने के बाद राज्य में भाजपा के अभियान में ठीक समय पर नई जिंदगी और नए सिरे से जोश भर दिया है।

Share This Article