नई दिल्ली: यह समूची दुनिया के लिए बेहद अहम सूचना है। सर्च इंजन गूगल (Google) 9 नवंबर से गूगल अकाउंट में लॉगिन करने का तरीका बदल रहा है।
अब पुराने तरीके से इसे लॉगिन नहीं किया जा सकेगा। गूगल की आधिकारिक घोषणा के मुताबिक अब गूगल अकाउंट में लॉगिन करने के लिए ‘टू स्टेप वैरिफिकेशन (दो स्तरीय सत्यापन)’ को ऑन करना होगा। ऐसा न करने पर गूगल अकाउंट में लॉगिन नहीं किया जा सकेगा।
गूगल ने पिछले महीने यूजर्स की सुरक्षा के मद्देनजर ‘टू स्टेप वैरिफिकेशन’ को 9 नवंबर से लागू करने की घोषणा की थी। गूगल की आधिकारिक सूचना के मुताबिक ‘टू स्टेप वैरिफिकेशन’ सुरक्षा परत (लेयर) है। इसे अकाउंट में जोड़ने से यूजर्स का अकाउंट को पूरी तरह सुरक्षित रहेगा। ‘टू स्टेप वैरिफिकेशन’ के तहत अकाउंट को लॉगिन करने के लिए दो स्टेप पूरे करने होंगे। पहला सही पासवर्ड डालना होगा। दूसरे में ओटीपी।
गूगल (Google) का कहना है कि अगर यूजर ने ओटीपी नहीं डाला तो अकाउंट को एक्सेस नहीं किया जा सकेगा। ओटीपी के लिए एसएमएस, वॉयस कॉल या फिर मोबाइल ऐप का उपयोग किया जा सकता है। ‘टू स्टेप वैरिफिकेशन’ को ऑन करने के लिए यूजर को पहले अपना गूगल अकाउंट खोलना होगा।
इसके बाद नेविगेशन पैनल में सिक्योरिटी ऑप्शन का चयन कर साइनिंग इन टू गूगल पर जाना होगा। इसके अंदर टू स्टेप वैरिफिकेशन पर क्लिक करके फिर गेट स्टार्टेड पर क्लिक करना होगा। इसके बाद स्क्रीन पर उभरे निर्देशों को मानते हुए ‘टू स्टेप वैरिफिकेशन’ को पूरा करना होगा।
क्या है टू स्टेप वेरिफिकेशन?
अगर आपका वास्ता इंटरनेट से हर दिन पड़ता है तो टू स्टेप वेरिफिकेशन के बारे में पता होगा। कई ऐसे प्लेटफॉर्म हैं, जिन पर टू स्टेप वेरिफिकेशन की सुविधा पहले से रही है जिसमें Facebook भी शामिल है। अगर नहीं पता है तो समझ लीजिए। आमतौर पर लॉगइन करने के लिए एक पासवर्ड की ज़रूरत होती है। आपने सही पासवर्ड दिया और बात एंट्री मिल गई। लेकिन नेटवर्क (इंटरनेट) से जुड़ा कोई भी सिस्टम सेफ नहीं है।
आपको पता भी नहीं चलेगा और हैकर्स आपका पासवर्ड उड़ा ले जाएंगे। अगर आप ये सोच रहे हैं कि सिक्योरिटी के सारे पैमाने को ध्यान में रखकर बनाए गए पासवर्ड का कोई-क्या बिगाड़ लेगा तो इस गलतफहमी को दूर कीजिए।
आपकी ओर से एक गलत क्लिक और कहानी खत्म। जैसे ही आपका पासवर्ड गलत शख्स के हाथ में लगा, आपका डेटा सुरक्षित नहीं रह जाता। यहीं पर अहम हो जाता है कि वेरिफिकेशन का दूसरा तरीका।
टू स्टेप वेरिफिकेशन की प्रक्रिया गूगल अकाउंट (Google Account) के लिए नई नहीं है। संभव है कि यह आपके अकाउंट पर पहले से एक्टिव हो। अगर नहीं है तो उसे अपने आप एक्टिवेट कर दिया जाएगा और एक्टिवेट करने से 7 दिन पहले नोटिफाई भी किया जाएगा। अब वेरिफिकेशन के लिए आपके मोबाइल फोन का रोल अहम हो जाता है। क्योंकि वेरिफिकेशन गूगल के साइन इन प्रॉम्पट के ज़रिए होगा या वनटाइम पासवर्ड के ज़रिए।
साइन-इन प्रॉम्पट में गूगल की ओर से एक सिक्योरिटी मैसेज आएगा। क्या आप फलां डिवाइस पर लॉग इन कर रहे हैं? यहां पर आपके अपने फोन में यस पर टैप करना होगा। फिर हो गया लॉगइन। इसके अलावा वनटाइम पासवर्ड देकर भी लॉगइन किया जा सकेगा जो आपके स्मार्टफोन में SMS के तौर पर आएगा।
कैसे एक्टिवेट करना है टू स्टेप वेरिफिकेशन?
1. अपने गूगल अकाउंट को खोलें
2. नेविगेशन पैनल पर जाएं यहां सिक्योरिटी चुनें।
3. इसके बाद साइन इन टू गूगल के अंदर 2- स्टेप वेरिफिकेशन को चुनें।
4. इसके बाद स्क्रीन पर आए निर्देश को फॉलो करते जाएं।
हम एक दो चीजें साफ कर दें जिसे गूगल ने भी बताया है। ऐसा नहीं है कि नई व्यवस्था आने के बाद आपको पहले की तुलना में ज़्यादा बार साइन इन करने की इस प्रक्रिया को दोहरना है। हां, अगर किसी नए डिवाइस पर साइन इन किया तो टू स्टेप वेरिफिकेशन होगा ही होगा। या फिर Google को शक हुआ और वह आश्वस्त होना चाहता कि आप ही लॉगइन कर रहे हैं तो वेरिफिकेशन होगा।
बताते चलें कि कुछ मीडिया रिपोर्ट्स में गूगल की ओर से ईमेल और इन-ऐप के ज़रिए प्रॉम्पट भेजकर two-step verification इनेबल करने की बात कही गई है। मैसेज में साफ-साफ लिखा है कि अगर वेरिफिकेशन प्रोसेस को इनेबल नहीं किया गया तो यह अपने आप 9 नवंबर से एक्टिव हो जाएगा।