बिजनेस

Xiaomi के नकली सामान की बाजार में भरमार, धड़ल्ले से ऑनलाइन प्लेफॉर्म पर बेचे जा रहे

नई दिल्ली: हर जगह नकली सामान बेचने वालों की इस त्योहारी सीजन (Festive Season) में भरमार से ली गई है। इससे देश के राजस्व को नुकसान तो पहुंच ही रहा है।

लोगों को सामान भी गलत उपलब्ध कराया जा रहा है। बता दें कि ये सब Online Platform पर हो रहा है। इसमें भी विशेषकर जियोमी के सामान के साथ हो रहा है।

जी हां, देशभर में ज्यादातर लोग ऑनलाइन सामान ही खरीदना पसंद कर रहे हैं, लेकिन आपको बता दें कुछ प्लेटफार्म नकली Xiaomi का सामान बेच रहे हैं।

देश में पोर्टेबल इलेक्‍ट्रोनिक्‍स और एक्‍सेसरीज (Accessories) की काफी डिमांड है। ऑनलाइन मार्केट में खुलेआम कई बड़े ब्रांडों का नकली सामान बेचा जा रहा है। नकली सामान से कंपनियों को बड़ा नुकसान होता है, साथ ही ग्राहकों को भी चपत लग रही है।

नौ हजार नकली सामान किए गए हैं जब्‍त

कोविड महामारी के चलते ई-कॉमर्स प्‍लेटफॉर्म्‍स (E-Commerce Platforms) पर भी आप बेच सकते हैं। कंज्‍यूमर इलेक्‍ट्रोनिक फर्म Xiaomi ने साल 2022 के पहले 6 महीनों में उसके नाम से बेचे जा रहे 9000 नकली प्रोडक्‍ट जब्‍त किये हैं।

इनकी कीमत 73.8 लाख रुपये है. इस साल में कंपनी ने उसके ब्रांड नाम से बेचे जा रहे 33.3 लाख रुपये मूल्‍य के 3,000 प्रोडक्‍ट पुलिस की मदद से जब्‍त किए थे। पायरेटेड उत्‍पाद (Pirated Product) अब न केवल देश के बाजारों में आसानी से मौजूद है।

धोखाधड़ी करने का अनोखा तरीका

Xiaomi India के प्रेसिडेंट मुरलीकृष्‍णनन बी का कहना है कि कंपनी के पोर्टफोलियो (Portfolio) में शामिल बहुत से उत्‍पादों की पायरेसी हो रही है।

नकली ईयरफोन, चार्जर, एडप्‍टर और यूएसबी केबल ज्‍यादा बेची जा रही हैं। देश के प्रमुख शहरों में ऐसे बाजार हैं जहां से नकली उत्‍पाद पूरे देश में भेजे जा रहे हैं।

JBL, AKG, हरमन कार्डोन और इनफिनिटी नाम से स्‍पीकर और बुफर्स बनाने वाली Samsung की इकाई हरमन ने भी इस महीने की शुरुआत में दिल्‍ली की कई दुकानों और मैन्‍यूफैक्‍चरिंग यूनिट्स से JBL and Infinity के नकली स्‍पीकर्स और बुफर्स पुलिस की सहायता से बरामद किए गए थे।

ऑनलाइन चेकिंग की व्‍यवस्‍था नहीं

टेकआर्क के रिसर्चर फैसल कावुसा का कहना है कि वीयरेबल्‍स और हियरेबल्‍स प्रोडक्‍ट (Wearables And Wearables Products) की नकल करना बहुत आसान है। यही नहीं, इन्‍हें आसानी से चीन से मंगवाया जा सकता है।

नकली सामानों की बिक्री इसलिए भी बढ़ रही है, ऑनलाइन मार्केटप्‍लेसज पर चेकिंग की कोई व्‍यवस्‍था ही नहीं है। कोई भी नकली प्रोडक्‍ट लिस्‍ट (Product List) करके बेच सकता है।

अर्थव्‍यवस्‍था को भी पहुंचाया जा रहा नुकसान

फेडरेशन ऑफ इंडियन चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (Federation of Indian Chambers of Commerce and Industry) की सितंबर 2019 की रिपोर्ट के अनुसार, भारतीय अर्थव्‍यवस्‍था को हर साल 1.17 ट्रिलियन रुपयों का नुकसान केवल 5 सेक्‍टर्स के नकली और तस्‍करी कर लाए गए सामान की बिक्री से हो रहा है।

इन 5 सेक्‍टरों में कंज्‍यूमर इलेक्‍ट्रोनिक्‍स (Consumer Electronics) भी शामिल है।

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