‘400 Paar’ slogan turned out to be junk: लोकसभा चुनाव 2024 के रुझानों में अब तक टाइट फाइट की स्थिति बनी हुई है। पीएम नरेंद्र मोदी चुनाव से पहले संसद में भाजपा के 370 पहुंचने और एनडीए को 400 सीटें मिलने की बात कही थी। 22 जनवरी को अयोध्या में रामलला की प्राण प्रतिष्ठा हुई और फिर फरवरी में बजट सेशन था। ऐसे में उनके दावे को काफी गंभीरता से लिया गया था। अब लोकसभा चुनाव के नतीजे आ रहे हैं तो तस्वीर उसके उलट दिख रही है। भाजपा को सबसे ज्यादा नुकसान उत्तर प्रदेश और राजस्थान में दिख रहा है। अब तक यूपी में भाजपा महज 35 सीटों पर ही आगे चल रही है। स्मृति इरानी, अनुप्रिया पटेल और चंदौली से महेंद्रनाथ पांडेय जैसे नेता पीछे चल रहे हैं।
इसके अलावा राजस्थान की बात करें तो भाजपा ने 2019 में जहां क्लीन स्वीप किया था, वहां अब तक 14 पर ही आगे चल रही है। यहां कांग्रेस ने 8 सीटों पर बढ़त बना रखी है। यही नहीं बंगाल और बिहार में भी भाजपा को उम्मीद से कम सीटें मिल रही हैं। ऐसे सवाल है कि आखिर भाजपा को यूपी, राजस्थान जैसे राज्यों में कम सीटें क्यों मिलती दिख रही हैं। इस पर चुनावी विश्लेषकों का मानना है कि भाजपा के लिए ‘400 के पार’ वाले नारे ने फायदे से ज्यादा नुकसान किया है। जानकार मानते हैं कि इस नारे के चलते भाजपा के कार्यकर्ता अति-आत्मविश्वास में आ गए और वोटरों को बाहर निकालने के लिए ज्यादा प्रयास नहीं किए।