धनबाद: मंडल कारा धनबाद में बंद महिला बंदियों (Female Prisoners) की स्थिति में सुधार को लेकर मंगलवार को जिला विधिक सेवा प्राधिकार के सचिव सह अवर न्यायाधीश निताशा बारला ने रिमांड अधिवक्ता अजय कुमार भट्ट के साथ मंडल कारा धनबाद का निरीक्षण किया।
निरीक्षण के दौरान न्यायाधीश ने जेल के अंदर के किचन का जायजा लिया। बंदियों को दिए जाने वाले भोजन, चिकित्सा संबंधी सुविधा और जेल के अंदर के अस्पताल की भी पड़ताल की। उन्होंने बंदियों के मिलने वाली विभिन्न सुविधाओं के विषय में कारा अधीक्षक से जानकारी ली।
निरीक्षण के दौरान न्यायाधीश निताशा बारला (Judge Nitasha Barla) ने महिला बंदियों के साथ बातचीत की और उनकी समस्याओं और परेशानियों से अवगत हुई। न्यायाधीश ने महिला बंदियों से उनकी शैक्षणिक स्थिति एवं जेल में मिलने वाली सुविधाओं को लेकर पूछताछ की।
विभिन्न सरकारी योजनाओं और विभिन्न कानूनों के विषय में जानकारी
उन्होंने महिला बंदियों से कहा कि जो भी बंदी कारा अवधि के दौरान प्राथमिक शिक्षा अथवा उच्च शिक्षा ग्रहण करना चाहती है वह अपनी सहमति जेल पीएलवी, अधिवक्ता से लिखवाकर कारा प्रशासन के माध्यम से जिला विधिक सेवा प्राधिकार को भेजें, ताकि उनके लिए शिक्षा की समुचित व्यवस्था जेल प्रशासन जिला प्रशासन के साथ सामंजस्य स्थापित करवा सके।
न्यायाधीश ने महिला बंदियों को उन्हें मिलने वाले विभिन्न सरकारी योजनाओं और विभिन्न कानूनों के विषय में जानकारी दी। इस दौरान महिला कैदियों ने न्यायाधीश से अपनी समस्याओं को बताया, जिसके समाधान का भरोसा न्यायाधीश ने दिया।
कारा अधीक्षक अजय कुमार ने न्यायाधीश को बताया कि वर्तमान में मंडल कारा धनबाद में 32 महिला बंदी है। इनके साथ दो बच्चे जो 6 वर्ष के कम उम्र के हैं। बच्चों की पढ़ाई लिखाई और महिला बंदियों को साक्षर करने के लिए महिला पीएलवी को कहा गया है।
न्यायाधीश बारला ने अधीक्षक को निर्देश दिया कि जेल में अपने परिजनों के साथ रह रहे बच्चों की पढ़ाई के लिए जिला शिक्षा अधीक्षक से पत्राचार कर शीघ्र ही शिक्षक की प्रतिनियुक्ति (Deputation) करवाएं।
समय-समय पर महिला बंदियों और बच्चों के स्वास्थ्य जांच, योगा की क्लास भी शुरू करवाने का निर्देश दिया।इस मौके पर डालसा सहायक सौरव सरकार, अरुण कुमार, जेल डॉक्टर आलोक विश्वकर्मा, पैरा लीगल वालटियर राजेश कुमार सिंह उपस्थित थे।