रांची: ACB के विशेष न्यायाधीश Prakash Jha की अदालत ने घूस (Bribe) लेने के दोषी कार्यपालक अभियंता हरेंद्र नाथ सिन्हा और ट्रेजरर सुरेंद्र प्रसाद को बुधवार को सजा सुनायी है।
चार हजार रुपये घूस लेने के दोषी कार्यपालक अभियंता हरेंद्र नाथ सिन्हा को दो साल की सजा सुनायी गयी है। साथ ही 20 हजार रुपये का जुर्माना लगाया गया है।
जुर्माना की राशि जमा नहीं करने पर छह माह की अतिरिक्त सजा काटनी होगी। इसके अलावा 500 रुपये घूस लेने के दोषी ट्रेजरर सुरेंद्र प्रसाद को डेढ़ साल की सजा सुनायी गयी है।
दोनों को रंगेहाथ गिरफ्तार किया गया
साथ ही चार हजार रुपये का जुर्माना लगाया गया है। ACB की ओर से विशेष लोक अभियोजक एके गुप्ता ने पैरवी की।
मामला लोहरदगा जिला के भवन निर्माण विभाग का है। इस संबंध में निबंधित संवेदक मिथिलेश कुमार तिवारी (Mithilesh Kumar Tiwari) ने 16 दिसंबर 2002 को निगरानी थाना में कांड संख्या-75/02 दर्ज कराया था।
उन्होंने कहा था कि वह निबंधित संवेदक है। उनके बकाये राशि की भुगतान के लिए लोहरदगा के भवन निर्माण के कार्यपालक अभियंता ने 15 प्रतिशत तथा ट्रेजरर (Treasurer) ने पांच प्रतिशत घूस की मांग की थी।
FIR registered होने के बाद निगरानी टीम ने जांच में मामला सत्य पाया। इसके बाद दोनों को रंगेहाथ गिरफ्तार किया गया था।