रांची: राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने भाकपा माओवादयिों (Jharkhand CPI Maoists) के खिलाफ सख्त कार्रवाई शुरू कर दी है। इसी कड़ी में NIA ने माओवादियों के खिलाफ चार्जशीट दायर की है।
ये चार्जशीट ऐसे समय में दायर की गई है, जब माओवादियों के खिलाफ कार्रवाई चल रही है। इसमें NIA ने पूर्व में गिरफ्तार दो माओवादयिों व नौ फरार माओवादियों के खिलाफ चार्जशीट की है।
बता दें कि इनके खिलाफ लातेहार के गारू में संगठन चलाने के मामले में केस दर्ज किया गया था।
लातेहार इलाके में बनाया था कैंप
माओवादियों ने लातेहार के गारू के रूद जंगल व उससे सटे पहाड़ी इलाके में कैंप (Camp) बनाया था। भाकपा माओवादियों के इस ठिकाने पर एक सितंबर 2017 को पुलिस बलों के साथ माओवादियों की मुठभेड़ हुई थी।
जिसके बाद भारी मात्रा में हथियार बरामद किए गए थे। इस मामले में लातेहार के गारू थाना में केस संख्या 32/2017 दर्ज की थी। इस केस को बाद में 19 अप्रैल 2021 को एनआईए ने टेकओवर किया था।
इनकी दिखाई थी गिरफ्तारी
NIA ने इस मामले में गुमला के प्रभू साव व बलराम उरांव को गिरफ्तार दिखाते हुए चार्जशीट की है। वहीं इनामी माओवादी छोटू खेरवार, रवींद्र गंझू, नीरज सिंह खेरवार, मृत्यंजय भूईंया, प्रदीप सिंह खेरवार, मुनेश्वर गंझू, राजेश गंझू, अघनू गंझू, लजीम अंसारी को फरार दिखाते हुए चार्जशीट की गई है।
चार्जशीट (Charge Sheet) में बताया गया है कि सभी आरोपी भाकपा माओवादी संगठन के क्रियावादी हैं। इन सभी ने भारत देश के खिलाफ युद्ध छेड़ रखा है। जिससे भारत की एकता, अखंडता, सुरक्षा को खतरा है।
आम लोगों से लेवी वसूलने का करते थे काम
संगठन के लोग आमलोगों के मन में दहशत पैदा कर लेवी वसूलने, हथियार व गोला बारूद की खरीद में शामिल हैं।
NIA की चार्जशीट में बताया गया है कि संगठन में कई निर्दोष लोगों को शामिल कर उन्हें आतंकी गतिविधियों में शामिल किया गया।
इतना ही नहीं इन्होंने ट्रेनिंग कैंप (Training camp) भी बना रखे थे। चार्जशीट में पुलिस पर हमला करने का भी जिक्र किया गया है।