रांची: विधानसभा चुनाव (Assembly Elections) में कांके विधानसभा सीट पर कांग्रेस (Congress) उम्मीदवार रहे सुरेश बैठा की इलेक्शन पिटीशन (Election Petition) पर सोमवार को झारखंड हाई कोर्ट में सुनवाई हुई।
सुनवाई के दौरान भाजपा विधायक समरी लाल की ओर से उपस्थित नौवें गवाह विनोद राम का बयान दर्ज किया गया।
विनोद राम ने भी अन्य गवाहों (witnesses) की तरह समरी लाल और अपने परिवार के आजादी से पहले से रांची में रहने की बात कही, लेकिन सुरेश बैठा के वकील ने जब पूछा कि क्या वे इससे जुड़ा कोई प्रमाण दे सकते हैं तो विनोद राम ने कहा कि उनके पास इसका कोई दस्तावेजी प्रमाण उपलब्ध नहीं है।
समरी लाल की ओर से अधिवक्ता अमर कुमार सिन्हा ने पक्ष रखा
विनोद राम की गवाही पूरी होने के बाद अदालत ने दूसरे गवाह का बयान दर्ज करने के लिए मंगलवार की तारीख मुकर्रर की है। याचिकाकर्ता (Petitioner) सुरेश बैठा की ओर से हाई कोर्ट के अधिवक्ता (Advocate) इंद्रजीत सिन्हा, विभास सिन्हा और अविनाश अखौरी ने कोर्ट के समक्ष पक्ष रखा। वहीं समरी लाल की ओर से अधिवक्ता अमर कुमार सिन्हा ने पक्ष रखा।
उल्लेखनीय है कि वर्ष 2019 के विधानसभा चुनाव में कांके विधानसभा की आरक्षित सीट से कांग्रेस पार्टी के उम्मीदवार सुरेश बैठा और भाजपा (BJP) के उम्मीदवार समरी लाल ने चुनाव लड़ा था।
मतगणना के बाद भाजपा के उम्मीदवार समरी लाल को निर्वाचित घोषित किया गया, जिसके बाद सुरेश बैठा ने झारखंड हाई कोर्ट में याचिका दाखिल कर समरी लाल के निर्वाचन को रद्द करने की मांग की है।
इसके पीछे उन्होंने आधार दिया है कि समरी लाल द्वारा चुनाव के दौरान दिया गया जाति प्रमाण पत्र गलत है।