गया: बिहार के बोधगया (Bodh Gaya) स्थित कालचक्र मैदान (Kalachakra Maidan) में संचालित उपदेश कार्यक्रम में बौद्ध धर्मगुरु (Buddhist Priest) दलाई लामा (Dalai Lama) ने शनिवार को कहा कि चीन (China) की सरकार की ओर से बौद्ध धर्म (Buddhism) को नुकसान पहुंचाने का षड्यंत्र (Conspiracy) किया जाता रहा है लेकिन बौद्ध धर्म खत्म नहीं हो सका।
आज भी वहां बौद्ध धर्म के प्रति लोगों की आस्था है। वहां बहुत सारे बुद्ध विहार (Buddha Vihar) हैं।
उन्होंने कहा कि मैं चीन कई बार गया हूं। वहां के लोगों के मन में Buddhism के प्रति आज भी बहुत लगाव है।
उन्होंने उपदेश कार्यक्रम में उपस्थित बौद्ध धर्मावलम्बियों (Buddhists) से कहा कि इस पवित्र भूमि से यह संकल्प लेकर जाएं कि सभी जीवों के हित के लिए मैं भगवान बुद्ध, धम्म और संघ (Buddha, Dhamma and Sangha) की शरण में जाता हूं।
उपदेश कार्यक्रम के अंतिम दिन Dalai Lama ने महायान पंथ के तंत्र की देवी 21 ताराओं के स्वरूप और उनके गुणों से श्रद्धालुओं को अवगत कराया, जिसे कालचक्र मैदान पर लगाए गए स्क्रीन पर दिखाया भी गया।
उन्होंने श्रद्धालुओं को प्रतिदिन तारा के मंत्रों का जाप करने की सलाह दी। इसके बाद वह अपने आसन पर साधना में लीन हो गए और उनके लामाओं ने तारा के मंत्र का जाप किया।
उपदेश समापन सत्र में अरुणाचल प्रदेश के CM पेमा खांडू भी शामिल रहे
बौद्ध धर्मगुरु Dalai Lama ने कहा कि जब मैं साधनों में लीन था तो ऐसा लगा कि अवलोकितेश्वर हमारे सिर पर विराजमान हैं। आप भी ऐसा माने की आपके इर्द-गिर्द में भगवान बुद्ध (Lord Buddha) आठ अर्हत और नालंदा के विद्वान आपके सामने हैं।
इन्हीं के बदौलत आज भी बौद्ध धर्म जीवित है। उन्होंने सभी को दीक्षा दी। धर्मगुरु के प्रति लामा और अनुयायियों ने श्रद्धा पूर्वक उनके प्रति आभार व्यक्त किया। उपदेश समापन सत्र में अरुणाचल प्रदेश के CM पेमा खांडू भी शामिल रहे।
उपदेश कार्यक्रम में बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा ने लगातार तीन दिनों तक उपदेश दिया
उल्लेखनीय है कि Bodh Gaya में तीन दिवसीय कालच्रक पूजा का आयोजन किया गया है। इस पूजा का महत्व बौद्ध धर्म के अनुयायियों (Buddhists) के बीच ज्यादा होती है।
Corona के बाद भी यहां बड़ी संख्या में Buddhist पहुंचे। उपदेश कार्यक्रम में बौद्ध धर्मगुरु दलाई लामा ने लगातार तीन दिनों तक उपदेश दिया। आज उपदेश कार्यक्रम का तीसरा और अंतिम दिन रहा।