नई दिल्ली : Social Media पर वायरल हो रहे एक वीडियो में वैश्विक वित्तपोषण शिखर सम्मेलन (Global Finance Summit) में भाग लेने के लिए पेरिस (Paris) गए पाकिस्तान के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (PM Shehbaz Sharif), एक प्रोटोकॉल अधिकारी से छाता छीन लेते हुए दिखाई दे रहे हैं।
इससे वह बारिश में भीग रही हैं। 45 सेकंड के Video में, ग्रे रंग का सूट पहने शरीफ छाता छीनने की कोशिश करते नजर आ रहे हैं, जिसे अधिकारी ने पकड़ रखा है।
कुछ सेकंड के बाद, वह उससे छाता लेकर अकेले चलने लगते हैं, जबकि अधिकारी तेज बारिश में उनका पीछा कर रही होती है।
वह तब तक उनके पीछे चलती रहती हैं, जब तक प्रधानमंत्री कार्यक्रम स्थल के प्रवेश द्वार पर नहीं पहुंच जाते इस घटना पर लोगों की मिली-जुली प्रतिक्रिया आई।
Prime Minister Muhammad Shehbaz Sharif arrived at Palais Brogniart to attend the Summit for a New Global Financial Pact in Paris, France. #PMatIntFinanceMoot pic.twitter.com/DyV8kvXXqr
— Prime Minister’s Office (@PakPMO) June 22, 2023
नई वैश्विक वित्तपोषण संधि के लिए शिखर सम्मेलन गुरुवार को पेरिस में शुरू हुआ
एक Twitter User ने कहा, कई अन्य लोग हैं, इसलिए वह (प्रोटोकॉल अधिकारी) किसी अन्य महिला अधिकारी की छतरी का उपयोग कर सकती थी, एक अन्य व्यक्ति ने कहा, क्योंकि पिछली बार ईरान में जब किसी और ने उनके लिए छाता थामा था।
एक Twitter User ने मजाक में कहा, उसे देखकर मुझे मिस्टर बीन की याद आती है, जबकि एक अन्य यूजर ने कहा, और उसने उसका छाता चुरा लिया।
नई वैश्विक वित्तपोषण संधि (New Global Financing Treaty) के लिए शिखर सम्मेलन गुरुवार को पेरिस में शुरू हुआ, इसमें विभिन्न क्षेत्रों के 300 से अधिक प्रतिभागी शामिल हुए।
प्रतिभागियों से 6 गोल मेजों के माध्यम से जलवायु परिवर्तन से संबंधित वित्तपोषण मुद्दों पर चर्चा करने की उम्मीद है, इसमें अंतरराष्ट्रीय वित्तीय वास्तुकला में सुधार, विश्वास बहाल करना, रणनीतियों के लिए साझेदारी बनाना और निजी क्षेत्र के लिए अनुकूल माहौल बनाना शामिल है।
शरीफ ने कई विश्व नेताओं से की मुलाकात
शिखर सम्मेलन से पहले, शरीफ ने कई विश्व नेताओं और संयुक्त राष्ट्र और अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष (IMF) के प्रमुखों से मुलाकात की और विकासशील देशों के सामने आने वाली चुनौतियों, खासकर जलवायु परिवर्तन के कारण पर प्रकाश डाला।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए, प्रधानमंत्री ने विकासशील देशों की पीड़ा को कम करने और शांति सुनिश्चित करने के प्रयास में दुनिया में वित्तीय संसाधनों के वितरण के लिए एक निष्पक्ष और न्यायसंगत फॉर्मूले की आवश्यकता पर बल दिया।