नई दिल्ली: हिंसा प्रभावित राज्य मणिपुर (Manipur) के दौरे पर गए कांग्रेस नेता राहुल गांधी (Rahul Gandhi) ने आरोप लगाया है कि सरकार उन्हें मणिपुर के लोगों से संवाद नहीं करने दे रही है। उन्हें रोका जा रहा है।
राहुल ने गुरुवार को Tweet कर कहा कि वह मणिपुर के भाई-बहनों को सुनने आए थे।
यहां सभी समुदाय के लोग उनका स्वागत भी कर रहे थे लेकिन सरकार ने उन्हें मणिपुर की जनता से मिलने नहीं दिया।
मणिपुर को उपचार की जरूरत
राहुल ने कहा कि मणिपुर को उपचार की जरूरत है। ऐसे में शांति हमारी एकमात्र प्राथमिकता होनी चाहिए।
उल्लेखनीय है कि राहुल गांधी को मणिपुर में रोके जाने को लेकर आज कांग्रेस नेता सुप्रिया श्रीनेत ने दिल्ली में प्रेसवार्ता कर विरोध जताया। श्रीनेत ने कहा कि मणिपुर हिंसा को दो महीने हो गए लेकिन प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी (PM Narendra Modi) ने हिंसा की भर्त्सना और शांति की अपील नहीं की।
गृह मंत्री के दौरे के बाद हिंसा और बढ़ गई। उन्होंने केन्द्र सरकार से सवाल पूछा कि आखिर मणिपुर में शांति बहाल करने के लिए आपका प्लान क्या है?
जब हिंसा रोकनी है तब आप राहुल गांधी को रोक रहे हैं।
हाथरस, लखीमपुर जाते हुए भी राहुल को रोका था लेकिन इतिहास साक्षी है कि राहुल जहां जाने के लिए निकलते हैं, वहां पहुंचते जरूर हैं।
इसलिए नहीं करते PM मोदी इस मुद्दे पर बात
श्रीनेत ने कहा कि मोदी सरकार की प्राथमिकता में मणिपुर नहीं है। इसलिए प्रधानमंत्री मोदी इस मुद्दे पर बात नहीं करते हैं।
मणिपुर में मैतेई समुदाय (Meitei Community) को SC श्रेणी में शामिल किए जाने की मांग के विरोध में तीन मई को रैली का आयोजन हुआ था।
ऑल ट्राइबल स्टूडेंट्स यूनियन मणिपुर ने इस रैली का आयोजन किया था। रैली के दौरान हिंसा भड़की थी।
अभी तक इस हिंसा में 100 से अधिक लोगों के मारे जाने की खबर है।
मणिपुर में हुई हिंसा पर कांग्रेस की वरिष्ठ नेता सोनिया गांधी ने भी दुख प्रकट किया था और वहां के लोगों से शांति की अपील की थी।