रांची/पटना: भारतीय जनता पार्टी (BJP) की चार सदस्यीय तथ्यान्वेषी टीम ने गुरुवार को भाजपा नेताओं पर हुए लाठीचार्ज की जांच (Investigation of Lathicharge on BJP Leaders) करने पहुंची।
टीम ने इसे राज्य प्रायोजित हिंसा (State Sponsored Violence) करार दिया है। टीम के संयोजक रघुवर दास (Raghuvar Das) ने कहा कि बिहार की सरकार ने रैली को कुचलने का काम किया है।
पटना में पत्रकार वार्ता में रघुवर दास ने कहा कि केंद्रीय नेतृत्व ने लाठीचार्ज को गंभीरता से लिया है। हमने मौके पर जाकर लोगों से बात की है।
सरकार मामले की न्यायिक जांच करे
हमारे एक हजार कार्यकर्ताओं को चोट लगी। इनमें से 300 को गंभीर चोटें आई हैं।जांच टीम को जितनी जानकारी मिली, उसके आधार पर हम कह सकते हैं कि ये राज्य प्रायोजित हिंसा है।
CM नीतीश और डिप्टी CM तेजस्वी यादव ने क्रूरता पूर्वक लाठी चार्ज करवाया। हम मामले की न्यायिक जांच की मांग करते हैं।
रघुवर दास ने कहा कि नेता जनहित के मुद्दे पर शांति मार्च निकाल रहे थे। सरकार ने सोची-समझी साजिश के तहत मारपीट की। ये बहुत गलत है। सरकार का व्यवहार बहुत खराब है। आंसू गैस में मिर्च पाउडर देकर छिड़का गया।
रघुवर दास ने कहा कि पुलिस ने भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं के साथ एक अपराधी जैसा व्यवहार किया। घायल होने वाले को कमर के ऊपर चोट आई है।
सरकार मामले की न्यायिक जांच करे। हमारे एक कार्यकर्ता की शहादत हुई है। बंगाल और केरल में हमारे कार्यकर्ता नहीं डरते तो बिहार में कैसे डरेंगे।
बैरिकेडिंग तोड़ने पर वाटर कैनन का इस्तेमाल किया
भाजपा सांसद मनोज तिवारी ने कहा कि इस घटना को देखकर ऐसा लगता है कि जेपी आंदोलन के समय जो इमरजेंसी लगी थी वैसा ही नजारा है।
अगर हम ठीक से देखते हैं तो यह स्पष्ट होता है कि सरकार की पूर्व नियोजित तैयारी थी। भाजपा नेताओं को मरना है। हत्या होनी है।
मनोज तिवारी ने कहा कि राजनीतिक आंदोलन को डील करने का अपना तरीका है। पुलिस मैनुअल अलग है। मैनुअल के मुताबिक लाठी चार्ज कमर से नीचे करना होता है लेकिन यहां सिर पर मारा गया।
बैरिकेडिंग तोड़ने पर वाटर कैनन का इस्तेमाल किया जाता है लेकिन यहां पहले लाठीचार्ज किया गया, उसके बाद पानी छोड़ा गया। यह सब पूर्व नियोजित था।
ह्यूमन राइट कमीशन में मामला ले जाएंगे
मनोज तिवारी ने कहा कि कमेटी अपनी रिपोर्ट पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष को सौंपेगी। भाजपा सांसद के मुताबिक भाजपा नेताओं को अस्पताल तक पीटा गया।
यहां की पुलिस जांच से पहले ही फाइनल रिपोर्ट देती है। ह्यूमन राइट कमीशन (Human Rights Commission) में मामला ले जाएंगे। सब पहले से प्रायोजित था, फिर उस सरकार के पास क्या जाना? हम जनता के पास जाएंगे। इस सरकार को उखाड़ फेंकेंगे।
जांच टीम में शामिल भाजपा सांसद विष्णु दयाल राम (Vishnu Dayal Ram) पटना के ASP भी रह चुके हैं। उन्होंने कहा कि प्रदर्शन रोकने के लिए कम से कम बल का प्रयोग करना होता है।
बिहार के महाराजगंज लोकसभा क्षेत्र के सांसद जनार्दन सिंह सिग्रीवाल जी IGIMS अस्पताल में मिला।
नीतीश-तेजस्वी सरकार की दमनकारी पुलिस ने सांसद-विधायक को भी नहीं छोड़ा। जिस निर्दयता से लाठियां बरसाईं है, यह लोकतंत्र में अक्षम्य है।
शांतिपूर्ण प्रदर्शन से इतना भयभीत क्यों हो गई बिहार… pic.twitter.com/QVAK3k7iC7
— Raghubar Das (@dasraghubar) July 15, 2023
पुरुष पुलिस कर्मी ने बंदूक के कुंदे से मारा
जब हमने अपने कार्यकर्ता से बात की तो कहीं से नहीं लगता है कि कम से कम बल का प्रयोग किया गया। यहां तो एक व्यक्ति के पीछे 20-20 पुलिस लगाई गई थी।
टीम में शामिल सुनीता दुग्गल ने कहा कि शांति पूर्वक मार्च था। नीतीश सरकार ने महिलाओं पर लाठियां बरसाईं हैं। बहुत-सी महिलाएं घायल हैं। कई महिलाओं की छाती की पसलियां टूट गई हैं।
पुरुष पुलिस कर्मी ने बंदूक के कुंदे से मारा है। मुझे लगता है कि महिलाओं के साथ बर्बरता की गई है। जालियांवाला बाग में जिस तरीके से जनरल डायर ने गोलियां चलवाई थीं, वैसे ही भाजपा नेताओं और कार्यकर्ताओं पर हमला किया गया है।
भाजपा ने दिया धरना
भारतीय जनता पार्टी आज बिहार सरकार के खिलाफ धरना दिया। गुरुवार को बीजेपी कार्यकर्ताओं पर हुए लाठीचार्ज के विरोध में राज्य के सभी जिला मुख्यालयों में धरना दिया गया।
पार्टी अपने नेता विजय सिंह की मौत के लिए पुलिस और सरकार को जिम्मेदार ठहरा रही है।
पटना में प्रदेश अध्यक्ष सम्राट चौधरी के नेतृत्व में नेता प्रतिपक्ष विजय सिन्हा, सांसद रविशंकर प्रसाद, पूर्व मंत्री समेत कई बड़े नेता धरने में शामिल हुए। भाजपा ने लाठीचार्ज को बर्बरता बताया है।
सांसद रविशंकर प्रसाद ने कहा कि हम लोगों ने भी पुलिस की लाठी खाई है, जेपी मूवमेंट में जेल भी गया हूं। महिला राजनीतिक कार्यकर्ताओं पर भला ऐसा हमला किया जाता है। ये बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है, नीतीश कुमार को इसका जवाब देना होगा।
उल्लेखनीय है कि भारतीय पटना में लाठीचार्ज के दौरान भाजपा नेता विजय कुमार सिंह की मौत का मामला तूल पकड़ता जा रहा है। सियासी बयानबाजी के बीच शुक्रवार को DM डॉ. चंद्रेशेखर सिंह और ASP संजय मिश्रा (DM Dr. Chandreshekhar Singh and ASP Sanjay Mishra) ने प्रेस कॉन्फ्रेंस की।
DM का कहना है कि भाजपा नेता की मौत लाठीचार्ज में नहीं हुई है। जिला प्रशासन के मुताबिक विजय सिंह की टाइम और लोकेशन चेक (Vijay Singh Time and Location Check) की गई है, जो लाठीचार्ज की लोकेशन में नहीं है। एक जगह की फुटेज में वह पूरी तरह आराम से बात करते दिखे हैं। महामंत्री के साथ 3 लोग और साथ में थे।