रांची: झारखंड में बीजेपी व झामुमाे के बीच की कट्टरता चेन्नई में प्रेम में तब्दील होती दिखी।
जब केंद्रीय सड़क परिवहन और राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी, झारखंड के शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो की सेहत का हाल जानने पहुंचे।
दोनों मिले तो दल के साथ दोनों के दिल भी मिले। जगरनाथ ने हाथ जोड़कर अपने क्षेत्र की समस्या रखी तो केंद्रीय मंत्री ने भी समाधान का भरोसा दिलाया।
दोनों की मुलाकात झारखंड में चर्चा का विषय बनी हुई है। केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने शिक्षा मंत्री से कहा कि कोरोना संक्रमण को आपने मात दे दी है।
अब आप जल्द स्वस्थ होकर झारखंड लौटें और अपना कार्यभार संभाले। यहां बता दें कि केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी एमजीएम में इलाजरत अपने निजी पीएस से मिलने पहुंचे थे।
एमजीएम प्रबंधन की पहल पर केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी व शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो की मुलाकात कराई गई।
केंद्रीय मंत्री से सड़क निर्माण का आग्रह
शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो ने इस दौरान केंद्रीय मंत्री को एक मांग पत्र सौंपकर जैनामोड़ (बोकारो) से डुमरी ( गिरिडीह) स्टेट हाइवे ( फोरलेन ) निर्माण की मांग की।
इसके साथ ही शिक्षा मंत्री ने गिरिडीह से भाया डुमरी, नावाडीह, फुसरो, जैनामोड़ होते हुए रांची तक सरकारी बस परिचालन कराने का आग्रह किया।
झारखंड के लोगों को दूर होगी समस्या
शिक्षा मंत्री ने केंद्रीय मंत्री का ध्यान आकृष्ट कराते हुए कहा कि जैनामोड़ – डुमरी पथ में भारी वाहनों का परिचालन काफी तादाद में होता है।
पथ के टू लेन होने के कारण इसपर वाहनों का काफी दबाब है। वहीं गिरिडीह से भाया डुमरी, नावाडीह, फुसरो, जैनामोड़ होते हुए सीधे रांची तक सरकारी बस परिचालन की सुविधा नहींं है।
इस मार्ग पर सीधी ट्रेन की भी सुविधा नहींं होने की वजह से आम यात्रियों को आर्थिक क्षति के साथ निजी बस संचालकों की मनमानी का सामना भी करना पड़ता है।
इस मार्ग पर सरकारी बस के परिचालन से लोगों को सुविधा मिलेगी। उक्त मांगों पर केंद्रीय मंत्री ने शिक्षा मंत्री के आग्रह को स्वीकार कर जल्द कार्यवाही का भरोसा दिलाया।
एमजीएम से डिस्चार्ज हुए मंत्री जगरनाथ, जल्द लौटने वाले हैं रांची
गौरतलब है कि एमजीएम से गत 9 फरवरी को शिक्षा मंत्री जगरनाथ महतो डिस्चार्ज हुए हैं। तब से एमजीएम के ठीक सामने एक प्राइवेट फ्लैट में वे ठहरे हुए हैं।
मंगलवार को ही शिक्षा मंत्री का एमजीएम में रिव्यू हुआ है। उनकी जांच की गई है।
रिपोर्ट मिलने के बाद वे झारखंड लौटने के बारे सोंचेंगे। मौके पर मंत्री के पुत्र अखिलेश महतो, भतीजा दिवाकर महतो मौजूद थे।