Justice Verma to hear over 50 cases : दिल्ली हाई कोर्ट में जस्टिस यशवंत वर्मा की अध्यक्षता वाली बैंच द्वारा सुने जा रहे 50 से अधिक मामलों की सुनवाई नए सिरे से होगी। हाई कोर्ट ने इसकी जानकारी एक नोटिफिकेशन जारी कर दिया है। नोटिस में 52 मामलों की लिस्ट दी गई है, जिनमें सिविल रिट याचिकाएं भी शामिल हैं। ये मामले 2013 से 2025 तक के हैं।
इनमें प्रॉपर्टी टैक्स से संबंधित एनडीएमसी अधिनियम के प्रावधानों की संवैधानिक वैधता को चुनौती देने वाली 22 याचिकाएं शामिल हैं।
जस्टिस वर्मा से 23 मार्च को न्यायिक कार्यभार वापस ले लिया गए थे। इसके बाद से एडवोकेट इन मामलो को दिल्ली हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस डी. के. उपाध्याय के समक्ष पेश कर रहे थे।
साथ ही आगे की कार्यवाही के लिए निर्देश मांग रहे थे। जस्टिस डी. के उपाध्याय ने वकीलों को सुझाव दिया था कि एक आवेदन उनके निजी सचिव या अदालत के रजिस्ट्रार जनरल को दें, साथ ही आश्वासन दिया था कि उनकी शिकायत पर विचार किया जाएगा।
जस्टिस वर्मा तब विवादों में घिर गए थे, जब उनके लुटियंस दिल्ली स्थित घर में 14 मार्च की रात आग लगी। उनके घर के स्टोर रूम से 500-500 रुपए के जले नोटों के बंडलों से भरे बोरे मिले।
सवाल खड़ा हुआ कि इतना कैश कहां से आया। इसके बाद जस्टिस वर्मा का ट्रांसफर इलाहाबाद हाई कोर्ट में कर दिया गया था। जस्टिस वर्मा के खिलाफ तीन जजों की समिति आंतरिक जांच कर रही है।