नई दिल्ली: केंद्र सरकार के नए तीन कृषि कानूनों के विरुद्ध किसानों के आंदोलन के चलते पंजाब, हरियाणा और राजस्थान में भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) को 16 मार्च तक कुल 814.4 करोड़ रुपये के राजस्व का बड़ा नुकसान हुआ है।
यह जानकारी सड़क, परिवहन और राष्ट्रीय राजमार्ग मंत्री नितिन गड़करी ने राज्यसभा में एक सवाल के लिखित जवाब में दी।
उन्होंने कहा कि सरकार को हो रहे भारी नुकसान को देखते हुए उपयोगकर्ता शुल्क संग्रह को बहाल करने के लिए जिला और राज्य प्रशासन के साथ इस मामले को लगातार उठाया जा रहा है।
उन्होंने कहा, ‘किसान आंदोलन के कारण राजस्व की हानि मुख्यत: पंजाब, हरियाणा और राजस्थान के कुछ प्लाजा पर हुई है।’
उन्होंने बताया कि सबसे अधिक 487 करोड़ रुपये का पंजाब में हुआ है जबकि हरियाणा में 326 करोड़ रुपये और राजस्थान में 1.40 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ है।
उन्होंने कहा, ‘अन्य राज्यों में किसानों के आंदोलन के कारण राजस्व का कोई नुकसान नहीं हुआ है।’
उन्होंने कहा कि सरकार को हो रहे भारी नुकसान के मद्देनजर इस मामले को राज्यों व जिला प्रशासन के के साथ लगातार उठाया जा रहा है।
उन्होंने कहा, ‘पंजाब में फीस प्लाजा के सुचारू संचालन के लिए तत्काल हस्तक्षेप के लिए पंजाब सरकार से अनुरोध किया गया है।’
उन्होंने कहा कि एनएचएआई ने राजस्थान के मुख्य सचिव व संबंधित अधिकारियों को उपयोगकर्ता शुल्क संग्रह फिर से शुरू करने के लिए आवश्यक दिशा-निर्देश जारी करने का अनुरोध किया है।