नई दिल्ली: कोरोना वायरस के खिलाफ देश में जारी वैक्सीनेशन अभियान को और तेज किया जा रहा है।
इसी कड़ी में केंद्र सरकार ने सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया को रूस की स्पूतनिक-वी टीका बनाने की मंजूरी दे दी।
सूत्रों के अनुसार, ड्रग कंट्रोलर जनरल ऑफ इंडिया (डीसीजीआई) ने सीरम को हडपसर में अपनी लाइसेंस प्राप्त सुविधा पर परीक्षण और विश्लेषण के लिए स्पूतनिक-वी को बनाने की अनुमति दी है।
कोविशील्ड वैक्सीन बनाने वाली कंपनी सीरम इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया ने देश में कोविड-19 टीके स्पूतनिक-वी के उत्पादन की अनुमति मांगने के लिए भारत के औषधि महानियंत्रक (डीसीजीआई) को आवेदन दिया था।
पुणे स्थित कंपनी ने जांच विश्लेषण और परीक्षण के लिए भी मंजूरी मांगी थी। इस समय डॉ. रेड्डीज लैबोरेट्रीज भारत में रूस के स्पूतनिक-वी टीके का उत्पादन कर रही है।
इस साल के अंत तक स्पूतनिक वी की 85 करोड़ डोज बनाने का लक्ष्य रखा गया है।
शुरुआती महीनों में कुछ लाखों में वैक्सीन का निर्माण होगा, जबकि समय बीतने के साथ ही रूसी वैक्सीन को बनाने की गति में इजाफा होगा।
वहीं, डीसीजीआई के एक्सपर्ट पैनल ने फार्मा की दिग्गज कंपनी डॉ. रेड्डीज लैबोरेटरीज को स्पूतनिक-वी के फेज 2,3 के क्लीनिकल ट्रायल के प्रदर्शन के एक संशोधित प्रोटोकॉल प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है।
हाल ही में डॉ. रेड्डीज लैब ने भारत में रूसी वैक्सीन का ट्रायल करने के लिए शीर्ष दवा नियामक को एक आवदेन दिया था। देश में अप्रैल महीने में आई कोरोना वायरस की दूसरी लहर ने काफी कहर बरपाया था।
अप्रैल-मई महीने में लाखों कोरोना संक्रमण के मामले सामने आए थे। सरकार ने इसकी रोकथाम के लिए तैयारियों को तेज कर दिया था।
इसी कारण से वैक्सीन्स के उत्पादन पर भी काफी जोर दिया जा रहा है। सरकार का लक्ष्य इस साल के अंत तक भारत में कोरोना टीकाकरण पूरा कर देने का है।