पटना: सीएए-एनआरसी के विरोध में देशभर में हुए प्रदर्शन के दौरान फंडिंग को लेकर प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने गुरुवार को दरभंगा और पूर्णिया में छापेमारी की।
दरभंगा के सिंहवाड़ा थाना क्षेत्र के शंकरपुर गांव में पॉपुलर फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएफआई) के जनरल सेक्रेटरी मो. सनाउल्लाह के घर और पूर्णिया में पीएफआई के कार्यालय में छापेमारी की गई।
फिलहाल इस कार्रवाई के बारे में कोई भी अधिकारी कुछ भी बताने से परहेज कर रहे हैं।
दरभंगा में छापेमारी के दौरान सनाउल्लाह के परिवार के सदस्यों से फंडिंग को लेकर पूछताछ की गई।
बताया जा रहा है कि सनाउल्लाह शंकरपुर में नहीं हैं। वे कोलकाता गये हैं। इसकी जानकारी होने पर उन्हें कोलकाता के पार्क सर्कस स्थित पीएफआई कार्यालय पर पूछताछ के लिए बुलाया गया है।
छापेमारी में ईडी के हाथ क्या-क्या लगा अभी इसकी जानकारी नहीं मिल पाई है। मो. सनाउल्लाह के घर छापेमारी के बाद वापस लौट रही टीम को ग्रामीणों ने घेर लिया।
ग्रामीणों की मांग है कि छापेमारी में बरामद समान की लिस्ट उन्हें दी जाए। लोगों ने भाजपा के खिलाफ नारेबाजी की। मौके पर सिंहवाड़ा थाना पुलिस मौजूद थी।
पूर्णिया के राजाबाड़ी में स्थित पीएफआई कार्यालय पर सुबह 8:30 बजे ईडी की 4 सदस्यीय टीम पटना से पहुंची और छापेमारी की। पूछताछ भी की गई।
इसमें ईडी ने स्थानीय पुलिस का भी सहयोग लिया। बताया जा रहा कि पूर्णिया में पीएफआई के कार्यालय में पूछताछ मनी लॉन्ड्रिंग को लेकर हुई है।
पूर्णिया और आसपास के इलाकों में सीएए तथा एनआरसी के खिलाफ चले आंदोलन में पीएफआई की बहुत ही सक्रिय और उग्र भूमिका थी।
बड़े-बड़े आयोजनों को पीएफआई के पूर्णिया कार्यालय ने अंजाम दिया था। हाल के दिनों में भी पीएफआई ने कई बड़े कार्यक्रम किए हैं।
सूत्रों के अनुसार यहां विदेशों से भी पैसा पहुंचने की शिकायत मिली थी। पूर्णिया में भी ईडी की कार्रवाई के विरोध में पीएफआई के सदस्यों ने समाहरणालय के मुख्य द्वार का घेराव किया।
समाहरणालय और पीएफआई दफ्तर के सामने प्रदर्शन किया। पीएफआई के प्रदेश कोषाध्यक्ष मो.हसन ने कहा कि ईडी की ये छापेमारी देशभर में चल रहे किसान आंदोलन की ओर से लोगों का ध्यान भटकाने का प्रयास है।
उन्होंने कहा कि सुबह हम लोगों को छापेमारी की जानकारी मिली। हम लोग पहुंचे लेकिन अंदर नहीं जाने दिया गया। तकरीबन साढ़े चार घंटे बाद स्टेट प्रेसिडेंट को अंदर जाने दिया गया। यहां दो साल से ऑफिस चल रहा है।
ईडी के सूत्रों के बताया कि विदेशों से सहयोग करने वाले भी नहीं बच पाएंगे। ऐसे सभी स्रोतों का पता लगाया जा रहा है, जहां से फंडिंग की गई है।
ईडी की टीमें एक वेबसाइट की भी जांच कर रही हैं, जिसके जरिए धन जुटाने का प्रयास किया गया। इस वेबसाइट के माध्यम से राष्ट्र विरोधी दुष्प्रचार भी किए जाते रहे हैं।
तीन तलाक, अनुच्छेद-370 की समाप्ति और सीएए-एनआरसी के विरोध में हुए प्रदर्शन में भी पीएफआई ने संगठित तरीके से अभियान चलाया था।
ईडी यह पता कर रही है कि इस वेबसाइट के माध्यम से अब तक कितना फंड जुटाया गया है। यह भी पता लगाया जा रहा है कि फंड का इस्तेमाल कहां-कहां किया गया औऱ पैसे किस-किस के खाते में भेजे गये।
इसके अलावा केंद्र के सीएए-एनआरसी के खिलाफ पूरे देश में प्रदर्शनों को कई माध्यमों से फंड मिलने की बात सामने आई थी।
दिल्ली के शाहीनबाग में 15 दिसम्बर, 2019 से शुरू हुआ प्रदर्शन भी करीब तीन महीने तक चला था। उस दौरान प्रदर्शनकारियों को कुछ लोगों के पैसे देने का वीडियो भी वायरल हुआ था।