पटना: केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस को धमकी दिए जाने के मामले की जांच की मांग लोजपा सांसद चिराग पासवान ने की है।
उन्होंने कहा है कि यह गंभीर मामला है। उन्होंने पीएम से मिलने वाले प्रतिनिधिमंडल में लोजपा को शामिल नहीं करने पर भी आपत्ति जताई।
चिराग ने शुक्रवार को कहा कि ये तो बड़ी चिंता की बात है कि बिहार में केंद्रीय मंत्री भी सुरक्षित नहीं हैं।
नीतीश जी क्यों चुप बैठे हैं। जिससे मर्जी हो उससे जांच कराएं और केंद्रीय मंत्री पशुपति कुमार पारस को सुरक्षित रखें।
चिराग ने कहा कि अगर पारस जी कहेंगे तो वे खुद मुख्यमंत्री के पास उनकी सुरक्षा की गुहार लेकर जाने को तैयार हैं।
बता दें कि पशुपति पारस की ओर से दिल्ली में एफआईआर दर्ज करायी गयी है कि उन्हें फोन कर जाम मारने की धमकी और भद्दी-भद्दी गालियां दी गयी है।
पशुपति कुमार पारस ने कहा कि उनकी जान लेने की साजिश रची जा रही है।
पारस ने कहा कि 23 अगस्त को जब वे अपने संसदीय क्षेत्र हाजीपुर गये थे तो उसके एक दिन पहले उनके मर्डर की साजिश रची गयी थी।
हाजीपुर के राजापाकड़ में अपराधियों को वहां मीट-चावल के साथ दारू पिलाया गया था।
इसपर चिराग पासवान ने कहा कि एफआईआर हुई है तो सरकार जांच कराए।
सरकार को जिस एजेंसी से मर्जी हो उससे जांच कराये। जिसके खिलाफ कोई सबूत मिले उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई करे।
नीतीश कुमार बिहार के मुख्यमंत्री ही नहीं बल्कि गृह मंत्री भी हैं। उनका पशुपति पारस जी के साथ तालमेल है।
चिराग पासवान ने जातिगत जनगणना को लेकर प्रधानमंत्री से मिलने गये प्रतिनिधिमंडल में लोजपा को शामिल नहीं किये जाने पर कड़ी आपत्ति जतायी।
चिराग ने कहा कि लोजपा बिहार में मान्यता प्राप्त पार्टी है। पिछले चुनाव में भी उसे लगभग छह फीसदी वोट मिले।
इसके बावजूद नीतीश कुमार व्यक्तिगत दुश्मनी निकाल रहे हैं। तभी इतने महत्वपूर्ण मसले पर सर्वदलीय प्रतिनिधिमंडल में लोजपा को शामिल नहीं किया गया।