झारखंड

झारखंड HC शिक्षकों की नियुक्ति नहीं किये जाने पर नाराज

सुप्रीम कोर्ट ने भी गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति पर रोक नहीं लगायी है

रांची: झारखंड हाइ कोर्ट ने शनिवार को गैर अनुसूचित जिलों में शिक्षकों की नियुक्ति नहीं किये जाने पर नाराजगी जतायी है।

अदालत ने कहा है कि सरकार की ओर से इस पर अभी तक निर्णय नहीं लेना दुर्भाग्यपूर्ण है।

अदालत ने सरकार को 10 सितंबर को सुप्रीम कोर्ट के आदेश के साथ अदालत में अपना पक्ष रखने का निर्देश दिया है।

एक अवमानना याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस एसके द्विवेदी की अदालत ने यह निर्देश दिया। इस संबंध में ओम कपूर ने अवमानना याचिका दायर की है।

याचिका में कहा गया है कि झारखंड सरकार की नियोजन नीति को हाइ कोर्ट ने रद्द कर दिया है।

सरकार ने अनुसूचित जिलों में तृतीय और चतुर्थवर्गीय पदों के सारे पद उसी जिलों के लिए आरक्षित कर दिये थे।

हाइ कोर्ट ने इस नीति को रद्द कर दिया और अनुसूचित जिलों में की गयी सभी नियुक्तियों को रद्द कर दिया था।

कोर्ट ने गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति करने की छूट सरकार को दी थी। हाइ कोर्ट के इस आदेश के खिलाफ कुछ लोगों ने सुप्रीम कोर्ट में याचिका दायर की।

सुप्रीम कोर्ट ने भी गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति पर रोक नहीं लगायी है।

लेकिन सरकार अभी तक नियुक्ति नहीं कर रही है, जबकि हाइ कोर्ट और सुप्रीम कोर्ट ने गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति की छूट प्रदान की है।

गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति के लिए सरकार के पास कई बार अभ्यावेदन दिया गया है, लेकिन सरकार नियुक्ति नहीं कर रही है।

सुनवाई के दौरान अदालत ने कहा कि सरकार को गैर अनुसूचित जिलों में नियुक्ति की छूट प्रदान की गयी है।

इसके बाद फिर सरकार को नियुक्ति पर निर्णय लेने का निर्देश दिया गया है, लेकिन सरकार की ओर से कोई कार्रवाई नहीं किया जाना दुर्भाग्यपूर्ण है।

अदालत ने सरकार को 10 सितंबर को सोनी कुमारी मामले में सुप्रीम कोर्ट के आदेश के साथ अपना पक्ष रखने का निर्देश दिया।

Back to top button
x

Adblock Detected

Please consider supporting us by disabling your ad blocker