नई दिल्ली: जन अधिकार पार्टी (जाप) के वरिष्ठ नेता पप्पू यादव शनिवार को 24 अकबर रोड़ स्थित कांग्रेस मुख्यालय पहुंचे।
कांग्रेस मुख्यालय ने शनिवार को पहुंचकर पप्पू यादव ने कांग्रेस महासचिव और झारखंड प्रभारी आरपीएन सिंह से मुलाकात की।
मुलाकात के बाद पप्पू यादव ने आईएनएस से कहा अगर राहुल गांधी बिहार के पेड़ लगाएंगे। तो पप्पू यादव पेड़ में खाद डालने के लिए हैं।
उन्होंने कहा, आरजेडी बीजेपी की बी टीम है। विपक्ष का नेता बीजेपी से मिला हुआ है। देश की तरह बिहार में भी अगर कांग्रेस अकेले चलेगी तो 2024 कांग्रेस का होगा।
कांग्रेस पार्टी के अनुसार बातचीत अंतिम दौर में है। पूर्व सांसद पप्पू यादव जल्द ही कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं। इससे पहले बिहार कांग्रेस के प्रभारी भक्तचरण दास ने आईएएनएस से बातचीत में कहा कि अभी तक उन्होंने व्यक्तिगततौर पर पप्पू यादव से इस संबंध में बातचीत नहीं की है।
ये पूरी बातचीत प्रदेश स्तर पर हो रही है। हालांकि सूत्रों के अनुसार पप्पू यादव पहले अपनी पार्टी जन अधिकार का कांग्रेस से गठबंधन चाहते थे।
लेकिन कांग्रेस की ओर से पप्पू यादव की जन अधिकार पार्टी के कांग्रेस में विलय का प्रस्ताव दिया गया। जिसके बाद ये बातचीत अंतिम दौर में है।
पप्पू यादव किन शर्तों के साथ कांग्रेस में शामिल होंगे, फिलहाल ये तय होना बाकी है। इससे पहले पप्पू यादव ने उपचुनाव में कांग्रेस को मदद करने के भी संकेत दिये थे।
सूत्रों के अनुसार पप्पू यादव नवम्बर के पहले सप्ताह में दिल्ली आकर कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी से मुलाकात करेंगे। इसके बाद कांग्रेस में शामिल होने का औपचारिक ऐलान किया जाएगा।
गौरतलब है कि में भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (सीपीआई) से बिहार का एक बड़ा चेहरा कन्हैया कुमार हाल ही में कांग्रेस पार्टी में शामिल हुए हैं। जिनको पार्टी ने कई राज्यों में चुनाव प्रचार की जिम्मेदारी दी है।
दरअसल पप्पू यादव की पत्नी रंजीत रंजन बिहार में सुपौल से सांसद रह चुकी हैं। फिलहाल वो कांग्रेस की राष्ट्रीय सचिव हैं। पूर्व सांसद रंजीत को उपचुनाव में कुशेश्वरस्थान विधानसभा सीट के लिए पर्यवेक्षक बनाया गया है।
हालांकि अब तक के हालात के अनुसार रंजीत रंजन कुशेश्वर सीट पर कांग्रेस प्रत्याशी अतिरेक के लिए वोट मांगेंगी और उनके पति पप्पू यादव अपनी पार्टी जाप के योगी चौपाल के लिए प्रचार करेंगे।
वहीं पिछले दिनों पप्पू यादव के जेल जाने के बाद रंजीत रंजन ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर नीतीश सरकार पर निशान साधा था। पप्पू यादव के भाजपा, जेडीयू, आरजेडी से ज्यादा सहज रिश्ते कांग्रेस पार्टी के साथ रहे हैं।