रांची: रांची के डोरंडा स्थित गौरीशंकर नगर में रास्ता विवाद के मामले में दायर याचिका पर मंगलवार को झारखंड हाई कोर्ट में सुनवाई हुई।
जस्टिस एसके द्विवेदी की अदालत में हुई इस सुनवाई के दौरान रांची के एसएसपी (SSP) उपस्थित हुए। उन्होंने अदालत में कहा कि चार दिन में पहले की तरह स्थिति बहाल हो जायेगी।
सुनवाई के दौरान बताया गया कि डोरंडा थाना क्षेत्र में गौरीशंकर नगर में पीसीसी पथ का निर्माण किया गया। वहां चहारदीवारी के निर्माण से अधिवक्ता अमरेंद्र प्रधान और उनका परिवार कैद हो गया।
याचिका अमरेंद्र प्रधान की ओर से दायर की गयी थी। मामले को लेकर रांची नगर निगम ने एसएसपी से कार्रवाई की मांग की थी। इसके बाद भी कार्रवाई नहीं हुई। इस मामले में अगले सप्ताह फिर सुनवाई होगी।
उल्लेखनीय है कि इससे पूर्व अदालत ने मामले में दोनों पक्षों को सुनने के बाद रांची एसएसपी को अदालत में हाजिर होने का आदेश दिया था।
इस मामले में जस्टिस संजय कुमार द्विवेदी की अदालत में सुनवाई हुई। पीड़ित अधिवक्ता अमरेंद्र प्रधान ने मामले की सुनवाई के दौरान अदालत को जानकारी दी कि तीन दिसंबर को रीता विनीता नामक दबंग महिला ने कुछ अराजक तत्वों की भीड़ जमा कर उनके घर के मेन गेट के सामने ईंट की दीवार खड़ी कर दी।
इसके साथ ही उनके परिवार सहित सभी घर में बंधक बना लिये गये। उन्होंने पुलिस को जानकारी दी, लेकिन जवानों की संख्या कम होने के कारण पुलिस कुछ भी नहीं कर पायी।
पुलिसवाले भी दीवार बनाते देखते रह गये। उसके बाद उन लोगों को घर से बाहर निकाला गया। पीड़ित ने पुलिस के सामने दीवार खड़ी करते हुए रंगीन तस्वीरें भी अदालत को दिखायी हैं।