रांची: झारखंड के पूर्व मंत्री और विधायक सरयू राय ने कहा है कि देवघर के उपायुक्त मंजूनाथ भजंत्री को हटाने के निर्देश से राज्य के प्रशासनिक अधिकारियों को सबक लेना चाहिए।
ज्ञातव्य है कि चुनाव आयोग ने राज्य के मुख्य सचिव को देवघर के उपायुक्त मंजूनाथ भजंत्री को हटाने का निर्देश दिया है।
श्री सरजू राय ने मंगलवार को कहा कि इससे प्रशासनिक अधिकारियों को सबक लेना चाहिए कि वे किसी के निजी सेवक नहीं बनें।
उल्लेखनीय है कि गोड्डा के भाजपा सांसद निशिकांत दुबे के खिलाफ केस दर्ज कराये जाने के मामले में आयोग ने उपायुक्त के खिलाफ नाराजगी जताते हुए यह आदेश जारी किया है।
राय ने कहा है कि आयोग का ये निर्णय एक बड़ी घटना है। इसके सबक भी हैं। झारखंड के प्रशासनिक अधिकारियों को इससे सबक लेने की जरूरत है।
किसी भी स्थिति में अधिकारियों को किसी के निजी सेवक के तौर पर आचरण करने से परहेज करना चाहिये। उनके लिये संविधान, नियम, कानून सर्वोपरि हो।
इसके हिसाब से ही काम करें। दुबे के खिलाफ देवघर उपायुक्त के कहने पर पांच केस अलग-अलग थानों में दर्ज कराये गये थे। इस पर भाजपा ने लगातार उपायुक्त पर हमला बोला था। भाजपा नेताओं ने कहा था कि उपायुक्त झामुमो कार्यकर्ता के तौर पर जिले को चला रहे हैं।
उल्लेखनीय है कि मंजूनाथ भजंत्री को हटाने के मामले में चुनाव आयोग के प्रधान सचिव राहुल शर्मा ने आदेश जारी किया है।
आदेश में कहा गया है कि बगैर आयोग की सहमति के उन्हें किसी जिले में उपायुक्त नहीं बनाया जाये। साथ ही दो सप्ताह के अंदर विभागीय कार्यवाही चलाने और मेजर पेनाल्टी के आरोप पत्र देने की भी हिदायत दी है।