नई दिल्ली: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा केंद्रीय रेल मंत्री के रूप में चुने गए अश्विनी वैष्णव (Ashwini Vaishnav) ने बुलेट ट्रेन जैसी महत्वाकांक्षी परियोजनाओं और महामारी के दौरान अनाज और अन्य आवश्यक वस्तुओं के परिवहन के लिए ट्रेनों को चलाने को ले कर केंद्रीय मंत्रिमंडल में टॉप 15 मंत्रियों में अपनी जगह बनाई है। आईएएनएस-सीवोटर के सर्वे में यह जानकारी सामने आई है।
सर्वे के अनुसार, एनडीए के मतदाताओं ने वैष्णव को 10 में से 6.82 अंक देकर 12वें स्थान पर रखा, जबकि विपक्षी दलों के मतदाताओं ने 5.96 अंक देकर उन्हें 7वां स्थान दिया है।
7.20 के स्कोर के साथ, उन्होंने ईसाई समुदाय के सामाजिक समूह मापदंडों में दूसरा स्थान हासिल किया, जबकि गैर-औपचारिक शिक्षा में उनका पहला स्थान है, जिसमें 7.49 के साथ मंत्री की अखिल भारतीय अपील को दिखाया गया है।
सरकार ने दावा किया कि भारतीय रेलवे ने कोविड-19 संकट के दौरान सद्भावना फैलाई थी, क्योंकि उन्होंने खाद्यान्न, कोयला, पेट्रोलियम, उर्वरक और लौह अयस्क जैसी आवश्यक वस्तुओं की आपूर्ति की थी।
बुनियादी ढांचे में सुधार से सुरक्षा बढ़ी। वंदे भारत एक्सप्रेस ने सरकार के काम को चार चांद लगाए।
सरकार के आठ साल पूरे होने पर यह सर्वे किया गया है
पूर्वोत्तर भारत और केंद्र शासित प्रदेश जम्मू और कश्मीर के लिए बेहतर कनेक्टिविटी और नेटवर्क का विस्तार चार्ट में सबसे ऊपर रहा है।
भारतीय रेलवे का सौर उर्जा से जोड़ना एक महत्वाकांक्षी परियोजना रही है, जिसे शुद्ध शून्य कार्बन उत्सर्जन की दिशा में योजनाबद्ध तरीके से ईमानदारी से कार्यान्वयन किया गया है।
वैष्णव ने 67 वें राष्ट्रीय रेल पुरस्कार 2022 के दौरान अपने मंत्रालय के लिए अपने ²ष्टिकोण को रेखांकित करते हुए कहा, हम छोटे लक्ष्य नहीं, बल्कि बड़े लक्ष्य निर्धारित करेंगे।
हम लोगों के सामने एक उदाहरण स्थापित करने के लिए इतनी मेहनत करेंगे। अगले पांच वर्षों में, रेलवे की प्रतिष्ठा ऐसी होनी चाहिए कि पूरे भारत में कहीं भी, कोई भी जटिल परियोजना किया जाना है, देश को कहना चाहिए कि इसे रेलवे को सौंप दो और यह हो जाएगा।
केंद्र में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली एनडीए सरकार के आठ साल पूरे होने पर यह सर्वे किया गया है।