इस्लामाबाद: पाकिस्तान में दो लोगों को फ्रेंच महिला के साथ रेप के बाद फांसी की सजा सुनाई गई है। फ्रेंच महिला की कार पर आबिद माल्ही और शफकत हुसैन नाम के लोगों ने हमला कर दिया था।
इन लोगों ने महिला के बच्चों के सामने ही रेप कर उनका कीमती सामान भी लूट लिया था।
लाहौर की कोर्ट ने इन दोनों को मौत की सजा सुनाई है। इन दोनों पर गैंगरेप, किडनैपिंग, लूट की धाराएं लगी थीं।
गौरतलब है कि पिछले साल 9 सितंबर को महिला पंजाब के पूर्वी प्रांत के आसपास मौजूद थी।
महिला की गाड़ी का पेट्रोल खत्म होने पर वहां मदद का इंतजाम कर रही थी।
महिला ने अपने रिश्तेदारों से बात की थी जिन्होंने महिला को सलाह दी थी कि उस मोटरवे इमरजेंसी नंबर्स इस्तेमाल करना चाहिए।
इस महिला ने अपने कार के दरवाजों को बंद रखा हुआ था, लेकिन हमलावरों ने खिड़की तोड़कर महिला को खींचते हुए बाहर ले आए थे। इसके बाद इन दोनों लोगों ने गनप्वाइंट पर महिला का उसके बच्चों के सामने रेप किया था।
इसके अलावा ये अपराधी पैसे, ज्वेलरी और बैंक कार्ड्स भी चुरा ले गए थे।
इस जघन्य हमले के एक दिन बाद लाहौर पुलिस चीफ उमर शेख भी जबरदस्त विवादों में आ गए थे क्योंकि शेख ने महिला पर ही आरोप लगाकर कहा था कि आखिर वे रात को बिना किसी मर्द के आखिर क्यों निकली थीं ?
इस शख्स ने कहा था कि पाकिस्तान के समाज में कोई भी अपनी मां या बहनों को रात को अकेले यात्रा नहीं करने देता है।
शेख ने कहा कि फ्रेंच महिला को शायद गलती से लगा होगा कि पाकिस्तान का समाज भी उतना ही सुरक्षित है जितना इनका खुद का देश है।
हालांकि शेख के बयान पर काफी बवाल हुआ था और ये मुद्दा जल्द ही मीडिया में सुर्खियां बटोरने लगा।
पाकिस्तान के पीएम इमरान खान ने कहा था कि इन बलात्कारियों को सार्वजानिक रुप से फांसी दे देनी चाहिए।
इन दोनों लोगों को मोबाइल फोन ट्रैकिंग के सहारे अगले दिन ही गिरफ्तार कर लिया गया था।
इस महिला ने दोनों शख्स को पहचान लिया और इन लोगों के डीएनए सैंपल्स के सहारे भी पुष्टि की गई थी।
इसके बाद मजिस्ट्रेट के सामने भी अपना गुनाह कबूल लिया था। पाकिस्तान में इस घटना को लेकर हजारों लोगों ने प्रोटेस्ट किए थे।
इन लोगों का कहना था कि पाकिस्तान में महिलाओं की सुरक्षा बढ़ाने के लिए कड़े प्रावधान लाने चाहिए और महिलाओं को ही रेप के लिए दोषी ठहराने वाले कल्चर को भी खत्म किया जाना चाहिए जिसके बाद पिछले साल दिसंबर में पाकिस्तान में रेप को लेकर एक नया कानून आया था।