चाईबासा : उसे अमावस्या और पूर्णिमा के रोज अजीब सी बेचैनी होती थी। इस बेचैनी का इलाज वह पिछले एक साल से कविराज नाम के एक शख्स करा रही थी।
आठ दिनों पहले भी वह दूसरी बस्ती में रहनेवाले उसी कविराज से दवा लेने के लिए घर से निकली थी। उसके बाद वह घर नहीं लौटी। उसकी हाथ-पैर कटी लाश रविवार को एक खेत में पड़ी मिली। सिर पर गहरी चोट के निशान थे।
ऐसा लग रहा था जैसे पत्थर से कूचकर उस युवती की हत्या की गयी है। हत्या से पहले उसके साथ दुष्कर्म किये जाने का भी शक है। यह कहना है उस युवती के परिजनों का।
पुलिस को सूचना दिये बिना कर दिया अंतिम संस्कार
यह घटना पश्चिमी सिंहभूम (चाईबासा) की है। युवती की लाश रविवार को खेत में मिली और परिजनों ने पुलिस को इसकी सूचना दिये बिना ही उसी दिन युवती के शव को जला दिया।
मामले की जानकारी पुलिस को मंगलवार को मिली। पुलिस फौरन गांव पहुंची और परिजनों के साथ स्थानीय लोगों से पूछताछ की।
युवती के परिजनों ने बताया कि आठ दिन पहले युवती दवा लेने के लिए दूसरी बस्ती में गयी थी, लेकिन उसके बाद फिर नहीं लौटी।
परिजनों ने युवती की काफी खोजबीन की, लेकिन उसका कहीं पता नहीं चला। दवा बनानेवाले कविराज से भी पूछताछ की गयी, लेकिन उसने बताया कि युवती उसके पास आयी ही नहीं है।
इस बीच रविवार को युवती का चाचा खेत में काम करने गया, तो वहां युवती की लाश पड़ी थी। इसके बाद परिजनों ने बिना किसी को जानकारी दिये शव को जला दिया।
परिजनों का कहना है कि बदनामी के डर से अंतिम संस्कार कर दिया गया। परिजनों ने बताया कि अपराधियों ने युवती का हाथ-पैर काट दिया था और उसके सिर पर चोट के निशान थे। शव देखकर ऐसा लग रहा था कि पत्थर से कूचकर युवती की हत्या की गयी है।
पुलिस ने घटनास्थल पर जाकर छानबीन की। फिलहाल, अब तक इस मामले में हत्यारे के बारे में कुछ जानकारी नहीं मिल सकी है। एसपी अजय लिंडा ने बताया कि पूरे मामले की गहनता से जांच की जा रही है, आरोपी जल्द पकड़ा जायेगा।