बोकारो में पुल के स्थल की जांच के लिए 3 अधिवक्ताओं की बनी कमेटी, हाईकोर्ट ने…

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रांची : झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) के चीफ जस्टिस संजय कुमार मिश्र की अध्यक्षता वाली खंडपीठ में शुक्रवार को बोकारो के चंदनक्यारी (Chandankyari) सहित अन्य ब्लॉक में खेत में पुल बनाने एवं उसका एप्रोच रोड नहीं होने एवं पुल निर्माण के जिम्मेदार लोगों से पैसे की वसूली करने का आग्रह करने वाली रवि कुमार वर्मा की जनहित याचिका पर सुनवाई हुई।

मामले में हाई कोर्ट ने पुल के स्थल की जांच के लिए 3 अधिवक्ता की कमेटी बनाई है।

यह कमेटी 25 अगस्त तक अपनी रिपोर्ट कोर्ट को देगी। कमेटी देखेगी कि जो पुल बने हैं उसमें कनेक्टिंग रोड (Connecting Road) है या नहीं।

जनता की 100 करोड़ से अधिक रुपये की की गई बर्बादी

सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता के अधिवक्ता राजीव कुमार ने कोर्ट को बताया कि बोकारो के चंदनक्यारी सहित कई ब्लॉक में ऐसे पुल बने हैं जिनका कोई कनेक्टिंग रोड नहीं है।

ऐसे पुल बनाने में जनता की 100 करोड़ से अधिक रुपये की बर्बादी की गई है।

कनेक्टिंग रोड के लिए सरकार ने कोई जमीन का अधिग्रहण नहीं की है और पुल बना दिया गया है।

मामले में राज्य सरकार की ओर शपथ पत्र दायर कर बताया गया है कि कुछ ही पुल में कनेक्टिंग रोड नहीं है।