नई दिल्ली: केन्द्रीय पेट्रोलियम मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने सोमवार को राज्यसभा में आश्वासन दिया है कि सरकार उपभोक्ताओं को आने वाले महीनों में पेट्रोल-डीजल के बढ़ते दामों से राहत देने का हर संभव प्रयास करेगी।
राज्यसभा में एक बयान में पुरी ने कहा कि भारत अपनी पेट्रोलियम जरूरतों का 85 प्रतिशत हिस्सा आयात करता है। इसके चलते भारत एशिया में दुनिया में होने वाले बदलावों से सबसे ज्यादा प्रभावित होता है।
पुरी ने अमेरिका, कनाडा, जर्मनी, फ्रांस का उदाहरण देते हुए कहा कि इन देशों में पेट्रोलियम पदार्थों की कीमतें 50 और 55 प्रतिशत तक बढ़ी हैं। भारत में इनकी कीमतों में महज 5 प्रतिशत का इजाफा हुआ है।
उन्होंने कहा कि ईंधन की कीमतें तेल कंपनियां ही निर्धारित करेंगी लेकिन सरकार उपभोक्ताओं को खपत के समय राहत प्रदान करने के लिए प्रतिबद्ध है।
केंद्रीय पेट्रोलियम और प्राकृतिक गैस मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने सोमवार को राज्यसभा में बताया कि केंद्र सरकार ने पिछले साल 5 नवंबर को पेट्रोल और डीजल की कीमतों में कमी की थी। हालांकि नौ राज्यों ने इसका अनुसरण नहीं किया।
प्रश्नकाल के दौरान कांग्रेस नेता आनंद शर्मा के प्रश्न के उत्तर में हरदीप पुरी ने कहा कि जीएसटी परिषद में पेट्रोलियम उत्पादों को जीएसटी के दायरे में लाने पर विचार किया गया था लेकिन इसके पक्ष में कोई खास समर्थन नहीं मिला।
उल्लेखनीय है कि यूक्रेन पर रूस के आक्रमण और पश्चिमी देशों के रूस पर लगे प्रतिबंध के बाद दुनिया में तेल की कीमतों में वृद्धि हो रही है।
भारत में वर्तमान में पेट्रोल और डीजल की कीमतों में बड़ा इजाफा नहीं हुआ है। दिल्ली में पेट्रोल 95.41 रुपये और डीजल 86.67 रुपये प्रति लीटर की दर पर मिल रहा है।