ग्वालियर : मध्य प्रदेश में गरमाते चुनावी (Madhya Pradesh Election) माहौल के बीच कांग्रेस की राष्ट्रीय महासचिव प्रियंका गांधी (Priyanka Gandhi) का ग्वालियर आना हुआ।
उन्होंने जनाक्रोश महारैली के जरिए बेरोजगारी व महंगाई (Unemployment and Inflation) को लेकर केंद्र सरकार और घोटालों को लेकर शिवराज सरकार पर जमकर हमले बोले।
प्रियंका कांग्रेस छोड़कर भाजपा में गए ज्योतिरादित्य सिंधिया (Jyotiraditya Scindia) पर तीखे हमले करने से बचीं। वहीं, इस आयोजन से प्रदेशाध्यक्ष कमलनाथ के बेटे और छिंदवाड़ा के सांसद नकुलनाथ का कद बढ़ गया।
ग्वालियर में आयोजित जनाक्रोश महारैली को लेकर सियासी गलियारों में कई तरह के सवाल थे। हर किसी की नजर प्रियंका गांधी के भाषण पर थी।
क्योंकि, ग्वालियर चंबल संभाग कांग्रेस छोड़कर भाजपा में गए ज्योतिरादित्य सिंधिया और सिंधिया राजघराने का प्रभाव वाला इलाका है। कांग्रेस से जुड़े नेता अपेक्षा कर रहे थे कि प्रियंका गांधी ग्वालियर में सिंधिया पर तीखे हमले बोलेंगी। मगर, ऐसा हुआ नहीं।
छिंदवाड़ा से सांसद नकुल नाथ को खास अहमियत मिली
प्रियंका गांधी ने नकारात्मक राजनीति की बजाय जनता के मुद्दों पर ज्यादा फोकस किया और उन्होंने यहां तक कहा कि 30 मिनट के भाषण में 10 मिनट प्रधानमंत्री जी की आलोचना कर सकती हूं, 10 मिनट के लिए मैं यह कह सकती हूं कि कितनी घोषणाएं नकली की, कितने घोटाले किए, कितने नाटक करते हैं शिवराज जी और मैं 10 मिनट के लिए सिंधिया जी के बारे में भी बोल सकती हूं कि किस तरह से अचानक उनकी विचारधारा ही पलट गई। लेकिन, मैं यहां आपका ध्यान भटकाने के लिए नहीं आई हूं।
मंच से विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष डॉ. गोविंद सिंह (Dr. Govind Singh) ने जरूर सिंधिया परिवार और ज्योतिरादित्य सिंधिया पर तीखे हमले किए। नेता प्रतिपक्ष ने प्रथम स्वतंत्रता संग्राम 1857 की क्रांति से लेकर 2020 तक सिंधिया परिवार से जुड़ी घटनाओं का सिलसिलेवार ब्यौरा दिया और सिंधिया परिवार को सत्ता लोलुप भी बताया।
कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ के पुत्र व छिंदवाड़ा से सांसद नकुल नाथ को खास अहमियत मिली। नकुलनाथ प्रदेश में इकलौते कांग्रेस के सांसद हैं, जिन्होंने लोकसभा चुनाव (Lok Sabha Elections) जीता है।
राजमणि पटेल को भी संबोधित करने का अवसर दिया गया
राज्य की 29 में से 28 लोकसभा सीटों पर भाजपा का कब्जा है। नकुल नाथ (Nakul Nath) को मंच से बोलने का मौका मिला और उन्होंने राज्य में कांग्रेस की सरकार बनने का भरोसा भी जताया।
संभवत यह पहला अवसर था जब नकुलनाथ को छिंदवाड़ा के बाहर कांग्रेस के राष्ट्रीय नेता की मौजूदगी में आयोजित कार्यक्रम में बोलने का अवसर मिला, इसे सियासी तौर पर काफी अहम माना जा रहा है।
इसके अलावा राज्यसभा सांसद राजमणि पटेल (Rajmani Patel) को भी संबोधित करने का अवसर दिया गया। ग्वालियर के व्यापार मेले में आयोजित कांग्रेस की जनाक्रोश महारैली में मंच पर पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष सुरेश पचौरी, अरुण यादव, कांतिलाल भूरिया, पूर्व नेता प्रतिपक्ष अजय सिंह के अलावा कई अन्य वरिष्ठ नेता थे। मगर, उन्हें बोलने का अवसर नहीं मिला।