हजारीबाग : अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर जिला समाज कल्याण विभाग द्वारा पिछले 24 घंटे में हजारीबाग मेडिकल कॉलेज अस्पताल एवं प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में जन्म लेने वाली बच्चियों व उनकी मां का सम्मान किया गया।
बच्चियों को उपहार दिए गए। साथ ही उनकी मां को पौधा भेंट किया गया। कहा गया कि पौधे को अपने घर के पास लगाएं और बच्ची के नाम से ही पौधा का भी नामकरण करें।
इतना ही नहीं बच्चियों को पढ़ाने लिखाने की भी बात कही गई। साथ ही यह भी कहा गया कि 21 वर्ष पूरे होने पर ही उनका विवाह किया जाए।
हजारीबाग मेडिकल कॉलेज अस्पताल में पिछले 24 घंटे में 15 बच्चियों ने जन्म लिया। सभी बच्चियों एवं उनकी मां का सम्मान किया गया।
जिला के प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र में भी पिछले 24 घंटे में जन्म लेने वाली बच्चियों का इसी प्रकार से स्वागत व सम्मान किया गया।
जिला समाज कल्याण पदाधिकारी शिप्रा सिन्हा ने कहा कि अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस के अवसर पर उन लोगों ने इस धरती पर आने वाली महिलाओं का सम्मान करने का कार्यक्रम रखा था, ताकि समाज को संदेश जाए कि बेटियां किसी से कम नहीं है।
उन्हें भी बराबर का हक है। उन्हें भी पढ़ा लिखा कर आगे बढ़ाया जाए ताकि समाज और राष्ट्र के निर्माण में वे भी योगदान कर सकेंगी।
सम्मानित होने वाली बच्ची की मां चांदनी देवी ने कहा कि बच्चियां लक्ष्मी होती है। वह काफी खुश हैं कि उन्होंने बच्ची को जन्म दिया है।
उन्होंने यह भी कहा कि वर्तमान समय में बच्चियां इंजीनियर, डॉक्टर, प्रधानमंत्री सब कुछ बन रही हैं। वह अपनी बेटी को डॉक्टर बनाएंगी।
उन्होंने कहा कि आज के दिन वह मां बनने से काफी खुश हैं। वहीं माजिदा फरहत ने कहा कि वह बच्चियों को पढ़ाएंगी। उन्होंने कहा कि अगर बच्चियां नहीं होंगी तो वंश नहीं बढ़ेगा।