लंदन: पाकिस्तान (Pakistan) के प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ (PM Shahbaz Sharif) ने शनिवार को शारीरिक थकान (Physical Fatigue) का हवाला देते हुए पाकिस्तान जाने के लिए अपनी रवानगी टाल दी।
एक मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक, लंदन (London) में रहने के दौरान उनके व्यस्त कार्यक्रम के कारण उनके स्वास्थ्य (Health) पर असर पड़ा।
शहबाज शरीफ का शुक्रवार को पाकिस्तान जाने का कार्यक्रम था
जियो न्यूज की रिपोर्ट के मुताबिक, कुछ दिन पहले मिस्र में COP 27 की बैठक में हिस्सा लेने के बाद लंदन पहुंचे शहबाज शरीफ का शुक्रवार को पाकिस्तान जाने का कार्यक्रम था, लेकिन उन्होंने अपने प्रवास को एक दिन के लिए बढ़ा दिया था।
शरीफ परिवार के करीबी सूत्रों के मुताबिक, शनिवार को हवाईअड्डे के लिए रवाना होने से पहले शहबाज शरीफ को बुखार (Fever) हो गया और उनके परिवार ने उन्हें यात्रा न करने की सलाह दी, इसलिए उन्होंने दूसरी बार अपने प्रवास को बढ़ा दिया।
प्रधानमंत्री दो दिन और लंदन में रह सकते हैं
जियो न्यूज की रिपोर्ट के अनुसार, पारिवारिक सूत्रों ने बताया कि प्रधानमंत्री दो दिन और लंदन में रह सकते हैं।
लंदन प्रवास के दौरान शहबाज शरीफ ने PML-N सुप्रीमो और उनके बड़े भाई नवाज शरीफ के साथ कई बैठकें कीं। बैठकें ज्यादातर देश की राजनीति और एक नए सेना प्रमुख की नियुक्ति पर केंद्रित थीं।
इससे पहले शुक्रवार को डेली मेल मानहानि मामले में शहबाज शरीफ के अनिश्चितकालीन स्थगन के अनुरोध को ब्रिटेन की एक अदालत ने खारिज कर दिया था।
ब्रिटिश मीडिया के अनुसार, जस्टिस मैथ्यू निकलिन ने मामले की सुनवाई की, जिसमें यह भी बताया गया कि अदालत ने उस आवेदक को और समय देने से इनकार कर दिया, जो PTI के लंबे मार्च में शामिल रहा है।
PM के वकीलों ने अदालत को अपने जवाब में कहा कि प्रधानमंत्री इस समय पेशेवर जिम्मेदारियों में लगे हुए हैं और अदालत से अनुरोध किया गया था कि उन्हें जवाब देने के लिए समय दिया जाए।
इस पर जस्टिस निकलिन ने कहा कि मीडिया की खबरों के मुताबिक, उनके कोर्ट में प्रधानमंत्री और आम आदमी बराबर हैं।
यदि शहबाज शरीफ और उनके दामाद अली इमरान अदालत में डेली मेल के वकीलों को जवाब देने में विफल रहते हैं, तो उन्हें प्रतिवादी को कानूनी कार्यवाही (Legal Proceedings) की पूरी कीमत चुकानी होगी।
2019 में, शहबाज शरीफ ने ब्रिटिश दैनिक और उसके पत्रकार डेविड रोज को सार्वजनिक धन के दुरुपयोग के लिए दोषी ठहराने के लिए कानूनी नोटिस (Legal Notice) दिया था।
कानूनी नोटिस में कहा गया है, लेख शहबाज शरीफ के लिए गंभीर रूप से मानहानिकारक (Defamatory) है, जिसमें झूठे आरोप शामिल हैं कि उन्होंने पाकिस्तान में विनाशकारी 2005 के भूकंप के पीड़ितों के लिए अंतर्राष्ट्रीय विकास विभाग (DFID) सहायता के रूप में यूके (UK) के करदाताओं के पैसे का दुरुपयोग किया। शहबाज शरीफ इन आरोपों को खारिज करते हैं।
जियो न्यूज के मुताबिक, लंदन की एक अदालत में सुनवाई के दौरान जस्टिस निकलिन (Justice Nicklin) ने फैसला सुनाया था कि शहबाज शरीफ के वकीलों को 23 नवंबर तक 30,000 पाउंड जमा करने होंगे, क्योंकि उनके वकीलों ने सुनवाई की कार्यवाही आगे बढ़ने के पक्ष में स्थगन आवेदन (Adjournment Application) वापस लेने के लिए अदालत में एकतरफा आवेदन किया था।