जमशेदपुर: कोरोना की तीसरी लहर के मद्देनजर घाघीडीह सेंट्रल जेल के पुलिस वालों के बाहर जाने पर रोक लगायी गयी है।
यदि कोई अति आवश्यक काम से भी जाना है तो उन्हें आने से पहले कोरोना जांच करानी होगी। ऐसा जेल के अंदर संक्रमण नहीं फैले, इसके लिए किया गया है।
रिश्तेदारों की मुलाकाती पर रोक
पहले ही जेल प्रशासन ने रिश्तेदारों की मुलाकाती पर रोक लगा दी थी। इसके अलावा परिजनों द्वारा जेल में बाहर से लाई गई खाने की सामग्री पर पूर्णत: बंदिश लगा दी गई है।
ठंड को देखते हुए कैदियों के गर्म कपड़े ही जेल प्रशासन द्वारा लिये जा रहे हैं। जो भी सामान बंदियों को चाहिए, उसे जेल प्रबंधन द्वारा तैयार टीम ही उपलब्ध कराएगी।
उन सामान को पहले पूरी तरह से सेनिटाइज किया जाएगा, उसके बाद ही उसे अंदर जाने दिया जाएगा।
बंदियों को दिए जा रहे त्रिकुट चूर्ण से बना काढ़ा
जेल के अंदर बंदियों को त्रिकुट चूर्ण से बना काढ़ा दिया जा रहा है। इसमें मूलत: सोंठ, काली मिर्च व पिप्पली का मिश्रण होता है।
इसे पानी में उबालकर साथ ही तुलसी पत्ती और गुड़ डालकर बंदियों को पिलाया जा रहा है। काढ़ा रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाएगा, जिससे वे संक्रामक रोगों से संक्रमित होने से बच सकेंगे।
जेल में क्वारेंटाइन वार्ड तैयार
पहले से ही साकची जेल को क्वारेंटाइन जेल बनाया गया है, लेकिन घाघीडीह जेल में भी एक वार्ड को क्वारेंटाइन बना दिया गया है।
यदि किसी बंदी की थोड़ी सी भी तबीयत खराब होती है तो तुरंत ही उसे वहां शिफ्ट कर दिया जाता है।
कराया गया है टीकाकरण
जेल के अंदर वैसे बंदी, जिन्होंने बाहर में अपना पहला डोज नहीं लिया था, उनके पहले डोज का टीकाकरण कराया गया है।
जिन बंदियों के दूसरे डोज का समय हो गया था, उनके दूसरे डोज का टीकाकरण किया गया। पिछले तीन दिनों से यहां वैक्सीनेशन किया गया। सभी को सतर्क भी किया जा रहा है।