Janmashtami Special : इस वर्ष 26 अगस्त दिन सोमवार को जन्माष्टमी (Janmashtami) का पर्व धूमधाम से मनाया जाएगा। जन्माष्टमी की पूजा के दौरान कान्हा जी (Kanha Ji) को भोग लगाने के लिए कुल 56 व्यंजन चढ़ाने की परंपरा है।
लेकिन हर किसी के लिए 56 व्यंजन का भोग लगाना संभव नहीं हो पाता है। लेकिन ऐसे में निराश होने की आवश्यकता नहीं है।
अगर आप कान्हा जी को प्रसन्न करने के लिए 56 व्यंजन का भोग नहीं लगा सकते हैं तो आप कान्हा जी के केवल इन 7 मनपसंद व्यंजन के भोग लगा कर भी उन्हें प्रसन्न कर सकते हैं।
दरअसल, कान्हा जी बेहद भोले हैं और वो इन 7 तरीके के भोग को पाकर ही खुश हो जाते हैं और इन्हें पूरे 56 व्यंजन के बराबर माना जाता है।
तो चलिए आज आपको बताते हैं कि वो कौन सी 7 चीजें हैं जो भगवान को 56 व्यंजन जितनी ही प्रिय है।
माखन मिश्री
यशोदा मैया भगवान श्री कृष्ण को बचपन में माखन मिश्री खिलाती थीं। इसलिए कान्हा जी के भोग में माखन मिश्री जरूर रखें।
मेवे या मेवे का पाग
5 तरह के मेवे को मिलाकर भगवान को अर्पित करें। अगर हो सके तो इन मेवों को मिलाकर पाग या मिठाई बनाकर तैयार कर लें। भगवान कृष्ण इसे खाकर भी खुश हो जाते हैं।
धनिया पंजीरी
भगवान को खुश करना है तो धनिया पंजीरा का भोग जरूर लगाएं। इन चीजों को मिलाकर भगवान को चढ़ाने से भगवान उतना ही खुश होते हैं जितना 56 व्यंजन को चढ़ाने से होते हैं। तो धनिया की पंजीरी भी इसमे शामिल है।
पंचामृत
घी, दूध, दही, शहद, मेवा से मिलकर बने पंचामृत को कान्हा जी को अर्पित करें। पंचामृत का भोग भगवान को बेहद प्रिय है।
शहद
इसके साथ ही कान्हा जी को शहद प्रिय है। बच्चे के जन्म पर उसे शहद चटाने की मान्यता है। इसलिए कान्हा के जन्म पर उन्हें शहद का भोग जरूर लगाएं।
खीरा
भगवान को जन्माष्टमी के दिन खीरा चढ़ाने की भी मान्यता है। खीरा लड्डू गोपाल को प्रिय है।
तुलसी
तुलसी के बिना भगवान किसी भी भोग को ग्रहण नहीं करते हैं। तो याद रखें अपने भोग में तुलसी के दल को जरूर शामिल करें। अगर आप पूरे 56 व्यंजन नहीं बना पा रही हैं तो बस इन 7 चीजों का भोग लगाकर अपने कान्हा को खुश करें।
Disclaimer : यहां सूचना सिर्फ मान्यताओं और जानकारियों पर आधारित है। यहां यह बताना जरूरी है कि News Aroma किसी भी तरह की मान्यता, जानकारी की पुष्टि नहीं करता है। किसी भी जानकारी या मान्यता को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह लें।