रांची: झारखंड हाई कोर्ट (Jharkhand High Court) के जस्टिस राजेश शंकर की अदालत ने बुधवार को अंजुमन इस्लामिया चुनाव को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई करते हुए झारखंड सुन्नी वक्फ बोर्ड के CEO की निगरानी में चुनाव कराने का निर्देश दिया।
यह भी कहा है कि CEO एक आक्षेप कमेटी बनाएंगे जो वोटर लिस्ट की गड़बड़ी की जांच करेगी, ताकि अंजुमन इस्लामिया का चुनाव सुचारु हो सके।
सुन्नी वक्फ बोर्ड (Sunni Waqf Board) का गठन नहीं होने पर कोर्ट ने राज्य सरकार पर 10 हजार रुपये का जुर्माना भी लगाया है।
प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता मोख्तार खान ने पक्ष रखा
सुनवाई के दौरान सुन्नी वक्फ बोर्ड के CEO कोर्ट में उपस्थित हुए। कोर्ट ने मतदाता सूची को दो सप्ताह में दुरुस्त करने का निर्देश दिया।
उल्लेखनीय है कि चुनाव से पूर्व मतदाता सूची में गड़बड़ी की शिकायत को लेकर अकिरुल रहमान एवं अन्य की ओर से झारखंड हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की गई है। प्रार्थी की ओर से अधिवक्ता मोख्तार खान (Advocate Mokhtar Khan) ने पक्ष रखा।