रांची: एक युवक ने इंडियन हिमालयन रेंज की आठ हजार 586 मीटर ऊंची कंचनजंघा की चोटी पर भारतीय झंडा फहराकर रांची ही नहीं झारखंड का भी नाम रोशन कर दिया।
पर्वतारोही पंकज कुमार ने एक हैरतअंगेज कारनामा केवल 21 साल की उम्र में करके दिखाया है।
इसके साथ ही पंकज ने भारत का सबसे युवा माउंटेनियर होने का भी रिकॉर्ड अपने नाम दर्ज करवा लिया।
रांची के इस युवा से पहले साल 2018 में उत्तराखंड के 22 वर्षीय युवक शीतलराज ने कंचनजंघा की चढ़ाई पूरी कर रिकॉर्ड अपने नाम दर्ज करवाया था।
इसके अलावा 24 वर्षीय नोएडा के अर्जुन वाजपेयी इस चोटी की चढ़ाई को पूरा कर चुके हैं।
9 अप्रैल को शुरू की थी चढ़ाई
पंकज ने पांच मई की शाम 4.52 बजे (नेपाल देश के समयानुसार) पर कंचनजंघा की चोटी समिट की। पंकज ने बताया कि नौ अप्रैल को उन्होंने कंचनजंघा के लिए चढ़ाई शुरू की थी।
करीब एक महीने तक चढ़ाई करनी पड़ी। बताया कि 5400 मीटर पर बेस कैंप बनाया गया था। यहां का तापमान लगभग माइनस 35 डिग्री था।
पंकज ने बताया कि शुरुआत में बेस कैंप से 1000 मीटर चढ़ाई कर कैंप टू में जाते थे और फिर नीचे आते थे, ताकि शरीर यहां के वातावरण के अनुकूल ढल सके।
लोगों ने एडवेंचर स्पोट्र्स की दी थी सलाह
पंकज ने बताया की घूमने-फिरने के शौक ने यह मुकाम हासिल करने में मदद की है। इसके चलते ही वह माउंटेनियर बन सके हैं। जगह-जगह जाने पर कुछ लोगों ने एडवेंचर स्पोट्र्स की सलाह दी। शुरुआत रांची के बरियातू और चिरौंदी की पहाड़ियों से शुरू की थी। बाद में पता चला कि इसमें प्रोफेशनल कोर्स भी होता है। साल 2019 में मनाली से ट्रेनिंग ली है। उनका लक्ष्य एवरेस्ट की चोटी पर फतह करना है। उन्होंने कहा कि एडवेंचर स्पोट्र्स को वह प्रोफेशनल करियर के रूप में आगे बढ़ाना चाहते हैं।
कई और रिकॉर्ड अपने नाम दर्ज कर रखे हैं पंकज ने
बता दें कि रांची का पंकज कुमार माउंट सतोपंथ की चढ़ाई थी कर चुका है। उसने गंगोत्री नेशनल पार्क में पड़ने वाली इस चोटी की 7075 मीटर पर भारत का झंडा लहराया था। वह हिमालय की सरस्वती सीमा की सर्वाधिक 6387 मीटर ऊंचाई वाली चोटी माउंट ब्लैक पीक पर भी तिरंगा लहरा चुका है।