नई दिल्ली: महाराष्ट्र के अमरावती से निर्दलीय सांसद नवनीत राणा के शिकायती पत्र पर कार्रवाई करते हुए लोकसभा सचिवालय ने पूरे मामले पर महाराष्ट्र सरकार से रिपोर्ट मांगी है।
नवनीत राणा ने ईमेल के जरिए लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला को पत्र लिखकर महाराष्ट्र की उद्धव ठाकरे सरकार और महाराष्ट्र पुलिस पर कई तरह के गंभीर आरोप लगाए हैं।
लोकसभा अध्यक्ष को लिखे पत्र में अपना दर्द बयां करते हुए निर्दलीय महिला सांसद ने लिखा कि उन्हें 23 अप्रैल को पुलिस स्टेशन ले जाया गया।
23 अप्रैल को उन्हें पूरी रात पुलिस स्टेशन में ही गुजारनी पड़ी। रात को उनके द्वारा बार-बार पानी मांगने के बावजूद उन्हें मौके पर मौजूद पुलिस स्टाफ ने पीने के लिए पानी नहीं दिया। उनके अनुरोध करने के बावजूद उन्हें बाथरूम नहीं जाने दिया गया।
लोक सभा की विशेषाधिकार समिति को भेजा जा सकता है
उन्होंने पत्र में आरोप लगाया कि उन्हें अपनी जाति की वजह से बुनियादी मानवाधिकारों से वंचित रखा गया। नवनीत राणा ने महाराष्ट्र की उद्धव ठाकरे सरकार पर कई तरह के गंभीर आरोप भी लगाए।
सूत्रों के मुताबिक, लोकसभा सांसद की इस चिट्ठी का संज्ञान लेते हुए लोकसभा सचिवालय ने महाराष्ट्र सरकार से इस पूरे मामले की रिपोर्ट मांगी है।
राज्य सरकार द्वारा रिपोर्ट आने के बाद ही लोकसभा अध्यक्ष इस पूरे मामले में आगे की कार्रवाई को लेकर फैसला करेंगे।
अगर इस मामले में लोकसभा सांसद के साथ किए गए गलत व्यवहार की पुष्टि हो जाती है तो फिर इस मामले को आगे की कार्रवाई के लिए लोक सभा की विशेषाधिकार समिति को भेजा जा सकता है।
दरअसल, महाराष्ट्र में हनुमान चालीसा और लाउडस्पीकर को लेकर जारी राजनीतिक बवाल के बीच महाराष्ट्र पुलिस ने शनिवार को नवनीत राणा और और उनके पति विधायक रवि राणा पर कई गंभीर धाराओं में मुकदमा दर्ज कर दोनों को गिरफ्तार कर लिया था।