CM Shinde Fell ill Again: महाराष्ट्र में एक और राजनीतिक सरगामी तेज है तो दूसरी ओर यहां के कार्यवाहक मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे (Eknath Shinde) एक बार फिर बीमार पड़ गए हैं।
खबर है कि उन्हें ठाणे स्थित जुपिटर अस्पताल पहुंचाया गया है। रविवार को ही शिंदे अपने पैतृक गांव से लौटे हैं। खबरें थीं कि वह स्वास्थ्य खराब होने के चलते आराम करने के लिए गांव गए थे।
खास बात है कि शिंदे को स्वास्थ्य संबंधी परेशानी ऐसे समय पर हुई है, जब राज्य में नई सरकार के शपथ ग्रहण की तैयारियां चल रही हैं।
डॉक्टर ने दी पूरी जांच की सलाह
मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, अधिकारियों ने जानकारी दी है कि स्वास्थ्य में कोई सुधार नहीं होने के बाद शिंदे को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। डॉक्टर ने उनकी पूरी जांच की सलाह दी है।
कहा जा रहा है कि उन्हें जांच के लिए कुछ समय तक अस्पताल में भर्ती रहना पड़ सकता है। खबरें थीं कि शिंदे शुक्रवार को भी तेज बुखार के बाद सतारा चले गए थे। उन्होंने लौटने पर बताया था कि वह अब ठीक हैं और आराम के लिए गांव गए थे।
महाराष्ट्र में शपथ ग्रहण समारोह
संभावनाएं जताई जा रही हैं कि महाराष्ट्र में गुरुवार को शपथ ग्रहण समारोह (Oath Ceremony) हो सकता है। इंडिया टुडे की रिपोर्ट में सूत्रों के हवाले से कहा जा रहा है कि उस दौरान महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री और दो डिप्टी CM शपथ ले सकते हैं।
शिंदे के भी शपथ लेने के आसार जताए जा रहे हैं। बुधवार को भारतीय जनता पार्टी विधायक दल के नेता का ऐलान कर सकती है।
बेटे ने खुद को डिप्टी सीएम बने की अटकल को किया खारिज
श्रीकांत शिंदे डिप्टी सीएम की रेस से बाहर शिंदे के बेटे एवं शिवसेना सांसद श्रीकांत शिंदे ने सोमवार को इलेक्ट्रॉनिक और सोशल मीडिया में आयी उन खबरों को खारिज किया जिनमें कहा जा रहा है कि वह राज्य में उपमुख्यमंत्री या कोई अन्य मंत्री पद की दौड़ में हैं।
X पर अपने पोस्ट में कहा, ‘चुनाव परिणामों के बाद सरकार के गठन में थोड़ी देरी हुई है और इसीलिए बहुत सारी अफवाहें उड़ रही हैं और उनमें से एक यह है कि मैं नयी सरकार में उपमुख्यमंत्री बनने जा रहा हूं।
मैं सभी को बताना चाहता हूं कि यह पूरी तरह से निराधार और झूठ है, इसमें कोई तथ्य नहीं है। मुझे पहले ही लोकसभा चुनाव के बाद केंद्रीय मंत्रिमंडल (Union Cabinet) में मंत्री बनने का मौका मिला था, लेकिन मैंने अपनी पार्टी के संगठन के लिए काम करना चुना। यह अभी भी वैसा ही है। मुझे सत्ता के पद की कोई इच्छा नहीं है।’