नई दिल्ली :केंद्रीय शिक्षा मंत्री रमेश पोखरियाल ‘निशंक’ ने कहा कि कई देशों ने भारत की नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति-2020 (एनईपी) का स्वागत विश्व के सबसे बड़े सुधार के रूप में किया है।
कई देशों ने इसे अपने यहां लागू करने में रुचि दिखाई है। दिल्ली विश्वविद्यालय के 97वें दीक्षांत समारोह को संबोधित करते हुए निशंक ने कहा कि नई शिक्षा नीति काफी विचार-विमर्श के बाद लागू की गई है।
शिक्षामंत्री ने नई शिक्षा नीति की प्रशंसा करते हुए इसे ‘समानता, गुणवत्ता एवं सुलभता के आधार पर तैयार प्रभावशाली, संवाद वाली, नवोन्मेषी एवं समावेशी नीति करार दिया।
उन्होंने कहा कि कैम्ब्रिज, संयुक्त अरब अमीरात, ऑस्ट्रेलिया, मॉरीशस, इंडोनेशिया और कई और देशों ने भारत की राष्ट्रीय शिक्षा नीति को विश्व का सबसे बड़ा सुधार कहा है।
वे इसे अपने-अपने देशों में लागू करना चाहते हैं। यह राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय दोनों है। नई नीति ‘वोकल फॉर लोकल’ का समर्थन करती है तथा यह वैश्विक स्तर पर स्थानीय है।
उन्होंने कहा कि नई शिक्षा नीति विद्यार्थियों के लिए नए अवसर लेकर आएगी। निशंक ने दिल्ली विश्वविद्यालय के विद्यार्थियों को नई नीति ‘मिशन स्तर’ पर लागू करने में अगुआ बनने का आह्वान किया।
नई राष्ट्रीय शिक्षा नीति को केंद्रीय मंत्रिमंडल ने मंजूरी दे दी है, जो 34 साल पहले वर्ष 1986 में आई राष्ट्रीय शिक्षा नीति का स्थान लेगी।
इसका उद्देश्य स्कूली एवं उच्च शिक्षा में बदलाव करना है, ताकि भारत को ज्ञान के क्षेत्र में महाशक्ति बनाया जा सके।