नई दिल्ली: दुनिया की सबसे बड़ी सोशल मीडिया कंपनी फेसबुक (Facebook), जो अब मेटा (Meta) बन चुकी है, जिसने मंगलवार को फेसियल रिकोग्निशन सिस्टम को बंद करने की जानकारी दी है।
किसी दूसरे व्यक्ति के साथ खींच कर अपलोड की गई आपकी फोटो को अब फेसबुक Auto Tag नहीं करेगा। फेसबुक ने इसकी आधिकारिक घोषणा कर दी है।
दरअसल, फेसबुक (Facebook) पर आरोप लगे कि वह खुद के फायदे के लिए यूजर्स की निजता का हनन कर रहा है जिसके बाद अपनी छवि सुधारने के लिए कंपनी ने ये कदम उठाया है। मेटा (Meta) ने कहा, हम फेसबुक पर फेस रिकग्निशन सिस्टम को बंद कर रहे हैं।
जिन लोगों ने इसे चुना है, अब फ़ोटो और वीडियो में स्वचालित रूप से पहचाना नहीं जाएगा और हम एक अरब से अधिक लोगों के व्यक्तिगत चेहरे की पहचान टेम्प्लेट हटा देंगे।
आप जब भी फेसबुक पर किसी अन्य व्यक्ति के साथ खींची गई फोटो को अपलोड करते थे तो फेसबुक आपके साथ फोटो में मौजूद उस व्यक्ति को खुद ही टैग कर देता था।
यह सब कुछ फेसबुक अपनी फेस डिटेक्शन टेक्नोलॉजी (Face Detection Technology) के सहारे करता था। असल में फेसबुक अपने यूजर्स के चेहरों को अपने सर्वर पर स्टोर रखता है और इसी का उपयोग करते हुए फेस डिटेक्शन टेक्नोलॉजी की मदद से किसी यूजर की फोटो में मौजूद लोगों के चेहरों को डिटेक्ट करके टैग कर देता था।
लेकिन इस टेक्नोलॉजी पर बीते कुछ समय से चल रहे निजता के हनन के विवाद के चलते फेसबुक ने आने वाले हफ्तों में इसे बंद करने का ऐलान किया है।
फेसियल रिकोग्निशन से जुड़ा डेटा डिलीट करेगी
मेटा ने यह कदम दुनिया भर में फेस रिकोग्निशऩ तकनीक के गलत इस्तेमाल को लेकर बढ़ती चिंता के मद्देनजर उठाया है। मेटा ने जानकारी दी कि वह 100 करोड़ से अधिक लोगों के फेसियल रिकोग्निशन से जुड़ा डेटा डिलीट करेगी। हालांकि यह तकनीक कुछ सेवाओं के लिए जारी रहेगी।
कुछ सेवाओं में इस्तेमाल होंगे ये सिस्टम
मेटा ने जानकारी दी है कि फेस रिकोग्निशन तकनीक को दुनिया भर में हटाया जाएगा और यह कार्य दिसंबर 2021 तक पूरा होने की उम्मीद है। हालांकि कुछ सेवाओं के लिए यह तकनीक इसके बाद भी जारी रहेगी।
मेटा ने एक ब्लॉगपोस्ट में जानकारी दी कि अगर पर्सनल डिवाइस या अकाउंट लॉक हो गया हो तो उसे खोलने के लिए इस तकनीक का इस्तेमाल हो सकेगा। मेटा के वाइस प्रेसिडेंट (आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस) जेरोम पसेंटी (Jerome Pesenti) ने कहा कि यह फैसला तकनीकी इतिहास में फेस रिकोग्निशन की उपयोगिता को लेकर अहम बदलाव का प्रतिनिधित्व करेगा।