मोरबी: Gujarat (गुजरात) के मोरबी शहर में मच्छु नदी पर तारों का पुल टूटने के मामले (Morbi Bridge accident) में सोमवार को ओरेवा समूह ग्रुप के चार कर्मियों समेत नौ लोगों को गिरफ्तार कर लिया गया। पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी ने यह जानकारी दी।
ब्रिटिश काल के दौरान बने इस पुल के रखरखाव और संचालन का ठेका ओरेवा समूह को मिला था। इस हादसे में करीब 134 लोगों की मौत हो गई।
राजकोट रेंज के पुलिस महानिरीक्षक (IG) अशोक यादव ने एक संवाददाता सम्मेलन में कहा, ‘‘इन नौ लोगों में से दो लोग मैनेजर हैं, जबकि दो पुल के पास टिकट बुकिंग क्लर्क (Clerk) हैं। हम गहन जांच करेंगे और दोषियों को नहीं बख्शा जाएगा।’’
उन्होंने कहा कि अन्य पांच आरोपियों में ओरेवा समूह द्वारा काम पर रखे गए दो मरम्मत ठेकेदार और पुल पर सुरक्षाकर्मियों के रूप में काम करने वाले तीन लोग शामिल हैं।
प्रशासन ने इसके रखरखाव के लिए एक ‘निजी एजेंसी’ को नियुक्त किया था
पुलिस ने केबल पुल के रखरखाव और संचालन का काम देखने वाली एजेंसियों के खिलाफ गैर इरादतन हत्या (Murder) के आरोप में एक प्राथमिकी दर्ज की है।
पुलिस के अनुसार भारतीय दंड संहिता की धारा 304 (गैर इरादतन हत्या की सजा) और 308 (गैर इरादतन हत्या का प्रयास) के तहत मामला मोरबी में दर्ज किया गया है।
‘बी’ डिवीजन के पुलिस निरीक्षक प्रकाश देकीवाडिया (Prakash Dekiwadia) द्वारा दर्ज प्राथमिकी में कहा गया है कि मोरबी शहर में मच्छु नदी पर बना पुल लगभग आठ महीने से उपयोग में नहीं था और स्थानीय प्रशासन ने इसके रखरखाव के लिए एक ‘निजी एजेंसी’ को नियुक्त किया था।