NEET UG Result : यदि देश के युवाओं के भविष्य से खिलवाड़ होगा तो उसका फल देश को ही भुगतना होगा। मेडिकल की पढ़ाई के लिए होने वाले टेस्ट में अगर गड़बड़ी होगी तो हम अच्छे डॉक्टर कैसे पैदा कर सकते हैं।
इस साल NEET UG का रिजल्ट घोषित होने के बाद से ही नेशनल टेस्टिंग एजेंसी (NTA) पर स्टूडेंट्स सवाल उठाने लगे हैं।
देशभर से रिजल्ट में गड़बड़ी के आरोप लग रहे हैं, जिसको लेकर सोमवार को तमाम छात्र संगठनों ने धरना प्रदर्शन किया। छात्रों ने मांग की कि पूरे प्रकरण की CBI जांच हो और परीक्षा पुन: कराई जाए।
यही नहीं देशभर से नीट रिजल्ट में गड़बड़ी को लेकर कई शिकायतें भी मिल रही हैं।
मामला अब Supreme Court पहुंच गया है और सुप्रीम कोर्ट की इस याचिका में रिजल्ट वापस लेने और दोबारा परीक्षा कराने की मांग की गई है।
याचिकाकर्ता ने ग्रेस मार्क्स देने के फैसले को मनमाना बताया है। याचिकाकर्ता ने एनटीए के ग्रेस मार्क्स को लेकर कहा कि एनटीए की तरफ से जारी की गई इन्फॉर्मेशन बुलेटिन में भी ग्रेस मार्क्स देने के प्रावधान का जिक्र नहीं किया गया था।
ऐसे में कुछ कैंडिडेट्स को ग्रेस मार्क्स देना सही नहीं है।
उच्च अंक ‘सांख्यिकीय रूप से असंभव
तेलांगना निवासी अब्दुल्ला मोहम्मद फैज और आंध्र प्रदेश निवासी डॉ. शेख रोशन मोहिद्दीन की ओर से दाखिल याचिका में कई छात्रों द्वारा प्राप्त 720 में से 718 और 719 के उच्च अंक ‘सांख्यिकीय रूप से असंभव है।
याचिका में आरोप लगाया गया है कि एक ही परीक्षा केंद्र के 67 छात्रों को 720 अंक में से 720 अंक साफ दिखाता है कि रिजल्ट सही नहीं।
याचिका में कहा गया है कि 29 अप्रैल को राष्ट्रीय परीक्षण एजेंसी द्वारा प्रकाशित अंतिम उत्तर कुंजी के बारे में कई शिकायतें हैं। याचिका में कहा गया है कि 5 मई को आयोजित परीक्षा के प्रश्नपत्र लीक होने की व्यापक शिकायतों का भी हवाला देते हुए परिणाम को रद्द करने और नये सिरे से परीक्षा कराने की मांग की है।