नई दिल्ली: कर्नाटक में हिजाब को लेकर जारी विवाद की गूंज मंगलवार को लोक सभा में भी सुनाई दी।
लोक सभा में कांग्रेस के नेता अधीर रंजन चौधरी ने मंगलवार को इस मसले को सदन में उठाते हुए कहा कि सरकार को इस मसले पर सदन में बयान देना चाहिए।
अधीर रंजन चौधरी ने कहा कि हम सदन के अंदर सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास की बात करते हैं लेकिन देश में कुछ जगहों पर ( कर्नाटक ) मजहब के आधार पर कार्रवाई हो रही है जो ठीक नहीं है।
उन्होंने इससे विभिन्न धर्मों के बीच दरार पैदा होने का आरोप लगाते हुए सरकार से इस मामले में बयान देने की मांग की।
कर्नाटक के हावेरी से भाजपा सांसद शिवकुमार चनबसप्पा उदासी ने कांग्रेस नेता की मांग पर पलटवार करते हुए कहा कि मामला अदालत के विचाराधीन है और यह राज्य का विषय है इसलिए कांग्रेस को यह मुद्दा लोक सभा में नहीं उठाना चाहिए।
इस विवाद को लेकर सरकार के रवैये का विरोध जताते हुए कांग्रेस, सीपीएम, सीपीआई, डीएमके, आईयूएमएल सहित कई अन्य विरोधी दलों के सांसदों ने लोक सभा से वाकआउट कर दिया।
संसद भवन परिसर में इस पूरे मुद्दे पर मीडिया से बात करते हुए केंद्रीय मंत्री एवं कर्नाटक से ही लोक सभा सांसद प्रल्हाद जोशी ने कुछ राजनीतिक और कट्टरपंथी लोगों पर ड्रेस कोड एवं कानून का पालन नहीं करके आम लोगों को भड़काने का आरोप लगाया।
जोशी ने कहा कि स्कूलों और कॉलेजों में विद्यार्थियों के लिए एक ड्रेस-कोड होता है। जिसका पालन करना हम सभी का कर्तव्य है।
इसके साथ ही जोशी ने यह भी कहा कि मामला कर्नाटक उच्च न्यायालय में चल रहा है और अब हम सबको अदालत के फैसले का इंतजार करना चाहिए।