आगरा : गैंगस्टर (Gangster) से राजनेता बने अतीक अहमद (Atiq Ahmed) और उसके भाई अशरफ (Ashraf) की दोहरी हत्या के तीन मुख्य आरोपियों में से एक अरुण मौर्य जल्द ही जेल से छूट सकता है।
UP के कासगंज जिले के कादरवाड़ी गांव का रहने वाला अरुण अपने परिवार के राशन कार्ड के अनुसार नाबालिग है।
बुधवार को TOI द्वारा एक्सेस किए गए दस्तावेज़ की एक कॉपी में यह उल्लेख है कि अरुण का जन्म 1 जनवरी 2006 को हुआ था। इस हिसाब से वह 17 साल, 3 महीने और 18 दिन का है।
अरुण के चाचा सुनील मौर्य ने क्या कहा ?
इस बात का दावा करते हुए अरुण मौर्य के चाचा सुनील मौर्य ने कहा कि उसे अपराध करने के लिए किसी ने गुमराह किया होगा।
पुलिस ने रविवार को एक बयान में अरुण की उम्र 18 साल होने का दावा किया था।
अरुण की गिरफ्तारी से जुड़ा एक मामला देख चुके वकील ने नाम जाहिर न करने की शर्त पर बताया कि पिछले साल फरवरी में, अरुण को हरियाणा पुलिस (Haryana Police) ने अवैध हथियार (Illegal Weapon) ले जाने के बाद जेल भेज दिया था।
अदालत ने बाद में स्वीकार किया कि वह नाबालिग था और उसकी रिहाई के आदेश दे दिए थे।
हालांकि, पानीपत जिले के औद्योगिक क्षेत्र (सेक्टर 29) में Arms Act के तहत मामले में दर्ज प्राथमिकी में उल्लेख है कि अरुण का जन्म 1992 में हुआ था, जिससे वह 31 साल का हो गया है।
अरुण पर पानीपत के सदर थाने में एक मामला दर्ज
पिछले साल मई में अरुण पर पानीपत के सदर थाने में एक मामला दर्ज किया गया था।
हरियाणा पुलिस के एक वरिष्ठ अधिकारी के अनुसार, हत्या के एक मामले में गवाहों पर कथित हमले के केस में यह प्राथमिकी दर्ज की गई थी।
अरुण इस मामले में एक महीने के भीतर जमानत पाने में कामयाब रहा। बता दें कि बुधवार को अरुण को दो अन्य शूटरों के साथ प्रयागराज में मुख्य न्यायिक मैजिस्ट्रेट की अदालत ने चार दिन की पुलिस रिमांड (Police Remand) पर भेज दिया।