खाद्यान्न उतारने के दौरान ट्रक से दबाकर गई ठेका मजदूर की जान, मजदूर में आक्रोश

सारे मजदूर गोदाम परिसर में ही धरना दे रहे हैं। साथ ही मुआवजा सहित अन्य मांगों को पूरा नहीं करने पर अनिश्चितकालीन हड़ताल की चेतावनी दी है

News Aroma Media

Palamu News: भारतीय खाद्य निगम, खाद्य संग्रह भंडारण डालटनगंज में खाद्यान्न उतारने के दौरान ट्रक से दबकर 35 वर्षीय ठेका मजदूर की मौत (Contract Laborer Death) हो गयी। घटना के बाद साथी मजदूरों ने कामकाज ठप कर दिया। लोडिंग-अनलोडिंग कार्य बंद हैं।

सारे मजदूर गोदाम परिसर में ही धरना दे रहे हैं। साथ ही मुआवजा सहित अन्य मांगों को पूरा नहीं करने पर अनिश्चितकालीन हड़ताल (Indefinite Strike) की चेतावनी दी है।

इस सिलसिले में मजदूरों ने खाद्य आपूर्ति मंत्री रामेश्वर उरांव के नाम आवेदन उनके प्रतिनिधि रुद्र शुक्ला को सौंपा है। मजदूरों से बात करते हुए मंत्री प्रतिनिधि रुद्र शुक्ला ने कहा कि उनके साथ पूरा न्याय होगा। मृत मजदूर के आश्रित को हर संभव सरकारी मदद दिलाई जायेगी

FCI मजदूरों के अनुसार शुक्रवार सुबह में गैंग नंबर-दो में ठेका मजदूर ईश्वरी यादव खाद्यान्न उतार रहा था। बोरा उठाने के दौरान बैक में आ रहे दूसरे ट्रक (BR15-G-5904) से दब गया।

आनन-फानन में साथी मजदूर उसे लेकर एमआरएमसीएच पहुंचे। यहां उसे मृत घोषित कर दिया गया। घटना के बाद गोदाम के मजदूर भड़क गए और धरना-प्रदर्शन करने लगे।

सूचना पाकर टाउन थाना पुलिस पहुंची और ट्रक को जब्त लिया। साथ ही MRMCH में शव का पोस्टमार्टम कराया। मजदूर ईश्वरी यादव रामगढ़ थाना क्षेत्र के हुटार का रहने वाला था। उसके चार बच्चे हैं। तीन लड़का एक लड़की। वर्ष 2016 से ईश्वरी यादव एफसीआई में मजदूरी कर रहा था।

एक करोड़ मुआवजा देने की मांग

घटना के बाद धरना दे रहे एफसीआई के मजदूरों ने ईश्वरी यादव के परिजनों को एक करोड़ रुपये मुआवजा और उसके परिवार के एक आश्रित को सरकारी नौकरी, सभी कार्यरत श्रमिक का इंश्योरेंस करने आदि शामिल हैं।

मजदूर संतोष यादव, प्रदीप यादव, नंदलाल राम, विनय कुमार, हरेन्द्र बैठा, संजय बैठा, रामसुंदर बैठा, संतोष कुमार यादव, विक्रम सिंह, रविन्द्र यादव, आकाश कुमार, नरेश राम, राहुल कुमार सिंह सहित करीब 33 मजदूरों ने ठेकेदार से सभी मांग की।

साथ ही कहा कि सभी श्रमिक मां तारा ट्रांसपोर्ट कंपनी के अधीन कार्यरत हैं और इसके ठेकेदार संजय शर्मा है। ठेकेदार के मौके पर नहीं आने के कारण मजदूरों में भारी आक्रोश देखने को मिला। उल्लेखनीय है कि FCI गोदाम में साढे़ तीन सौ मजदूर कार्यरत हैं।