Rahul Gandhi will not Contest Elections from Wayanad: राजनीति के गलियारे में तरह-तरह के कयास रह-रह कर लगाए जाते हैं। आजकल मीडिया और सोशल मीडिया में एक खबर आ रही है कि कांग्रेस नेता Rahul Gandhi वायनाड से चुनाव नहीं लड़ेंगे। किस सीट से चुनाव लड़ेंगे इसको लेकर संशय है।
Congress ऐसी सुरक्षित सीट तलाश रही है जहां से उनकी जीत सुनिश्चित की जा सके। तमाम प्रयासों के बाद भी सुरक्षित सीट नहीं मिल पा रही है। जहां तक वायनाड का सवाल है तो सूत्र बता रहे है कि राहुल गांधी इस बार वायनाड से चुनाव नहीं लड़ेंगे।
हो सकता है कि इस बार उन्हे दो सीटों पर उतारा जाए। एक कर्नाटक या तेलंगाना से और दूसरी उत्तर प्रदेश (UP) से कोई सीट हो सकती है। यह ताजा घटनाक्रम केरल में सीट बंटवारे को लेकर जारी बातचीत के बीच आया है, जहां Indian Union Muslim League कांग्रेस पर इस बार 2 के बजाय 3 सीटें देने का दबाव बना रही है। IUML वायनाड से चुनाव लड़ना चाहती है, क्योंकि उसके अधिकांश मतदाता मुस्लिम समुदाय से हैं।
इसके अलावा, Communist Party of India ने पार्टी के महासचिव डी राजा की पत्नी एनी राजा को वायनाड से मैदान में उतारा है। ऐसे में यह विपक्षी INDIA गठबंधन के लिए अच्छा नहीं रहेगा कि गठबंधन के एक प्रमुख नेता की पत्नी राहुल गांधी के खिलाफ चुनाव लड़ें। एक रिपोर्ट के मुताबिक, इस महीने की शुरुआत में CPI महासचिव डी राजा ने कहा था कि पार्टी की राष्ट्रीय कार्यकारिणी की बैठक में कांग्रेस को वायनाड छोड़ने के लिए मनानने पर कोई चर्चा नहीं हुई थी।
अखबार ने डी राजा के हवाले से कहा, ‘वायनाड उन चार सीटों में से एक है, जो CPI को LDF के भीतर सीट-बंटवारे समझौते के हिस्से के रूप में मिली थी। ’Rahul Gandhi ने 2019 के लोकसभा चुनाव में CPI उम्मीदवार PP सुनीर को हराकर 4 लाख से अधिक वोटों के अंतर से वायनाड सीट जीती थी।