रामगढ़ : रामगढ़ की विधायक सुनीता चौधरी (Sunita Chowdhary) द्वारा 26.74 करोड़ रुपए की लागत से बनने वाली सड़क का शिलान्यास (Foundation Stone of Road) किया गया। लेकिन, रात में ही असामाजिक तत्वों ने उस शिलापट्ट को तोड़ दिया।
यह मुद्दा सोमवार को काफी चर्चा में रहा और पथ निर्माण विभाग (Road Construction Department) के द्वारा रामगढ़ थाने में इसकी शिकायत दर्ज कराई गई।
इस मामले में एक तरफ आजसू ने पूर्व विधायक ममता देवी पर इसका ठीकरा फोड़ा है। तो दूसरी तरफ पथ निर्माण विभाग इसे असामाजिक तत्वों की करतूत मान रहा है।
ममता देवी के इशारे पर विकास में डाली जा रही बाधा : दिलीप दांगी
शिलापट्ट तोड़ने के मामले पर आजसू जिला अध्यक्ष दिलीप दांगी ने कड़ी प्रतिक्रिया जाहिर की है। उन्होंने बताया है कि सुनीता चौधरी रामगढ़ के विकास की गाड़ी को आगे बढ़ना चाहती हैं।
इससे पहले उनके पति चंद्र प्रकाश चौधरी ने पूरे जिले में इतना काम किया है, जिसकी वजह से जनता उन्हें विकास पुरुष के नाम से जानती है।
अब ममता देवी विधायक के पद पर नहीं है तो अपने समर्थकों को विकास कार्यों में बाधा डालने का इशारा कर रही है। रविवार को जिस सड़क का शिलान्यास किया गया था, वह कई गांवों को लाभ पहुंचाने वाला था।
वह योजना जब पूरी होगी तो पूरे क्षेत्र के लोगों को इसका लाभ मिलेगा। लेकिन ममता देवी जिस तरीके से विकास के रास्ते में अड़ंगा पैदा कर रही हैं आने वाले समय में रामगढ़ की जनता उन्हें सबक जरूर सिखाएगी।
पथ निर्माण विभाग ने रामगढ़ थाने में दर्ज कराई शिकायत
पथ निर्माण विभाग के कार्यपालक अभियंता राजीव रंजन मुंडा (Rajeev Ranjan Munda) ने बताया कि रविवार को शिलान्यास हुआ था।
सोमवार को विभाग को यह सूचना मिली कि शिलापट्ट को अज्ञात लोगों के द्वारा तोड़ दिया गया है। इस मामले में तत्काल रामगढ़ थाने में इसकी शिकायत दर्ज कराई गई है।
जानिए कितनी लागत से बनने वाली है सड़क और किसको मिलने वाला है लाभ
रामगढ़ के ललकी घाटी से छत्तरमांडू तक 11 किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण (Long Road Construction) जल्द ही पूरा हो जाएगा। इसके लिए 26.74 करोड़ की राशि आवंटित कर दी गई है।
इस प्राक्लित राशि से 11 किलोमीटर लंबी सड़क में 22 पुलियों का भी निर्माण किया जाएगा। सड़क की चौड़ाई 5.50 मीटर है।
इसमें नाली की लंबाई 2080 मीटर है। गार्डवाल की लंबाई 881 मीटर है। यह काम मेसर्स सिद्धार्था कंस्ट्रक्शन को सौंपा गया है।
16 मई 2024 से पहले कार्य को पूरा कर लिया जाएगा। योजना पूर्ण होने के पश्चात बूढाखुखरा (जाराटोली), महादेव टोली, अम्बागढा, लिंचिग, बहातु, जमीरा, छतर मांडू, राधा गोविंद विश्वविद्यालय के इलाके के लोग काफी लाभान्वित होंगे।